Guwahati : असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने राज्य के लोगों से कहा है कि उनकी सरकार ऐसी गाइडलाइंस बनाने जा रही है कि अगर कोई भी ऐसा इमाम गांव में आता है, जिसे लोग नहीं जानते हैं, तो ऐसे में लोगों को इसकी जानकारी तुरंत पुलिस को देनी होगी. इस पर पुलिस उस इमाम का सत्यापन करेगी. इसके बाद ही वह वहां रुक पाएगा. सीएम ने कहा कि असम का मुस्लिम समुदाय सरकार की इस बारे में मदद कर रहा है.
पोर्टल पर खुद को पंजीकृत कराना जरूरी होगा
असम में अवैध मदरसों को लेकर राज्य की हिमंत बिस्व सरमा की सरकार सख्त कदम उठा रही है. पिछले दिनों सरकार की ओर से बड़ी संख्या में ऐसे मदरसों को बंद किया गया है. साथ ही कुछ अवैध मदरसों पर बुलडोजर की कार्रवाई की गई थी. अब मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने सोमवार को जानकारी दी है कि उनकी सरकार एक विशेष वेबसाइट पोर्टल बना रही है. जो लोग या इमाम असम के बाहर से राज्य के मदरसों में आ रहे हैं, उन्हें इस पोर्टल पर खुद को पंजीकृत कराना जरूरी होगा. मुख्यमंत्री सरमा ने सोमवार को गुवाहाटी में कहा है कि जो लोग असम से हैं, उन्हें घबराने की कोई जरूरत नहीं है. उन्हें पोर्टल पर भी अपने नाम रजिस्टर कराने की आवश्यकता नहीं होगी. सिर्फ बाहरी लोगों को इस पोर्टल पर अपना नाम रजिस्टर करने की जरूरत होगी.
मेघालय के साथ सीमा विवाद पर भी उठाया कदम
इससे पहले असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा और मेघालय के उनके समकक्ष कोनराड के संगमा ने रविवार को मतभेदों के शेष छह क्षेत्रों में अंतर-राज्य सीमा विवाद को हल करने पर काम शुरू करने का फैसला किया. दोनों राज्यों के बीच इस साल की शुरुआत में छह अन्य समान क्षेत्रों में मुद्दों को सुलझाने के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर किए गए थे.
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