Jamshedpur (Sunil Pandey) : सोनारी परदेशी पाड़ा का ललन अखाड़ा इस बार सादगी से रामनवमी महोत्सव मनाएगा. अखाड़ा के लाईसेंसी सुखलाल के निधन के कारण कमिटी इस बार किसी तरह की सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन नहीं करेगी. करबबाजी, झांकी वगैरह भी नहीं निकाला जाएगा. अखाड़ा के मुख्य संरक्षक पन्ना सिंग जंघेल ने बताया कि 1951 से ललन अखाड़ा की ओर से रामनवमी महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है. ललन लाल अखाड़ा के पहले लाईसेंसी थे. उनके निधन के बाद उनके पुत्र सुखलाल के नाम लाईसेंस मिला. जिसके बाद उनकी अगुवाई में अखाड़ा निकाला जाता था. सुखलाल एनएमएल में कार्यरत थे. सेवानिवृत होने के बाद वे सामाजिक गतिविधियों में संलिप्त हो गए. बीमारी की वजह से 85 वर्ष की उम्र में दो माह पहले उनका निधन हो गया. जिसके कारण कमिटी ने इस बार सादगी से महोत्सव मनाने का निर्णय लिया.
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पहली बार शहर में आए थे मणिपुर के कलाकार
ललन अखाड़ा की ओर से प्रत्येक वर्ष धूमधाम से रामनवमी महोत्सव का आयोजन किया जाता रहा है. 1986 में पन्ना सिंह जंघेल को अखाड़ा संचालन की जिम्मेवारी मिली. तब से उन्होंने हर वर्ष नया प्रयोग किया. पहली बार उनकी अगुवाई में मणिपुर से मार्शल आर्ट (युवक-युवतियां) के कलाकार करतब दिखाने के लिए शहर आए थे. लगातार 15 वर्षों तक मणिपुर के कलाकार आए. इस बार भी भव्य आयोजन की तैयारी की गई थी. लेकिन लाईसेंसी के निधन के कारण सादगी से मनाने का निर्णय लिया गया.
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