Pakur : पाकुड़ (Pakur) – जिला कृषि पदाधिकारी मुनेंद्र दास ने 18 जुलाई को आत्मा सभागार में आकस्मिक फसल योजना की बैठक की. बैठक में जिले में कम बारिश के कारण धान की रोपनी नहीं होने पर चिंता जाहिर की गई. बैठक में उपस्थित प्रखंड के कृषि पदाधिकारियों से कहा कि किसानों को लंबी अवधि के धान बीज की जगह छोटी अवधि के धान बीज लगाने के लिए प्रेरित करें. छोटी अवधि के धान बीज अंजलि, ललाट, वंदना, बिरसा सुगंधा समेत कई अन्य हैं. इन बीजों को बोने से कम समय में फसल तैयार हो जाएगा. इसके अलावा उन्होंने पदाधिकारियों से कहा कि किसानों को सूखारोधी धान बीज भी लगाने के लिए प्रेरित करें. सूखारोधी धान बीज आईआर 64, डीआरटी व अन्य हैं.
इस बार अभी तक मानसून की कम बारिश को देखते हुए उन्होंने पदाधिकारियों से कहा कि 31 जुलाई तक कुलथी, मक्का, सरगुजा और 15 अगस्त तक रागी और मरुआ का फसल बोने के लिए किसानों को प्रेरित करें. इसके साथ ही यथासंभव इंटरक्रॉपिंग के तहत धान के साथ-साथ अरहर, मक्का, मूंगफली समेत अन्य फसल लगाने का भी सुझाव दें.
संबंधित फसलों के बीजों की जरूरत को देखते हुए अद्यतन प्रतिवेदन सरकार को भेजने का निर्णय लिया गया. आत्मा कार्यालय और कृषि विज्ञान केंद्र के संयुक्त तत्वाधान में कृषक गोष्ठी आयोजित करने की भी बात कही गई. बैठक में जिले के सभी प्रखंड कृषि पदाधिकारी, सहकारिता प्रसार पदाधिकारी, उप परियोजना निदेशक, एटीएम, बीटीएम उपस्थित थे.
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