Lucknow : उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के मैदान में मुख्तार अंसारी उतर गये हैं.खबर है कि मुख्तार मऊ विधानसभा सीट से सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के टिकट पर चुनावी मैदान लड़ेंगे. मुख्तार के चुनाव लड़ने की खबर पर राजनीतिक गलियारों में हलचल बढ़ गयी है. कहा जा रहा है कि उनके चुनावी मैदान में उतरने के साथ ही यह तय हो गया है कि इस बार वे सीएम योगी आदित्यनाथ के खिलाफ पूरा जोर लगाने वाले हैं. उत्तरप्रदेश में इस बार भाजपा और समाजवादी पार्टी गठबंधन के बीच सीधी टक्कर दिख रही है.
यूपी की राजनीति में तपिश महसूस की जा रही है
जान लें कि भाजपा सरकार बनने के बाद से ही मुख्तार अंसारी सीएम योगी आदित्यनाथ की नजर में चढ़ गये थे. दुश्मनी तो पुरानी थी, लेकिन सीएम योगी ने उन्हें बांदा जेल तक पहुंचा ही दिया. चुनावी मैदान में मऊ से मुख्तार के उतरने से यूपी की राजनीति में तपिश महसूस की जा रही है. सबसे बड़ी बात कि वे अखिलेश यादव के खेमे में हैं. मुख्तार अंसारी पहले बहुजन समाज पार्टी के खेमे में थे.
लेकिन, जब बसपा सुप्रीमो मायावती ने मुंह मोड़ लिया तो सुभासपा अध्यक्ष ओमप्रकाश राजभर ने पार्टी का टिकट उनके हवाले कर दिया. अब मऊ समेत पूर्वांचल और अवध के राजनीतिक समीकरण में बदलाव के संकेत मिल रहे हैं. उधर मुख्तार का बेटा बाराबंकी में समाजवादी पार्टी के पक्ष में प्रचार कर रहा है.
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2005 से ही योगी और मुख्तार में है भारी दुश्मनी
योगी आदित्यनाथ और मुख्तार अंसारी के बीच वर्ष 2005 से ही अदावत चल रही है. मऊ में हुए एक दंगे के दौरान गोरखपुर के सांसद योगी ने मुख्तार को चुनौती दी थी. मुख्तार पर दंगे भड़काने का आरोप था. योगी ने पीड़ितों को इंसाफ दिलाने की बात कही. बता दें कि वे गोरखपुर से मऊ के लिए निकले, लेकिन उन्हें दोहरीघाट में ही रोक दिया गय.। इसी कारण दोनों के बीच खाई गहरी होने लगी. 2008 में योगी ने हिंदू युवा वाहिनी के नेतृत्व में आजमगढ़ में आतंकवाद के खिलाफ रैली निकालने का ऐलान किया था. 7 सितंबर 2008 को डीएवी डिग्री कॉलेज मैदान में रैली की जानी थी. रैली के दिन योगी आदित्यनाथ का 40 गाड़ियों का काफिला आजमगढ़ के लिए निकला. लेकिन काफिले पर पत्थरबाजी हो गयी.
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योगी ने मुख्तार अंसारी को पंजाब जेल से बांदा जेल तक पहुंचाया
मऊ से पांच बार के विधायक मुख्तार अंसारी को सीएम योगी आदित्यनाथ ने पंजाब से बांदा जेल तक का सफर तय कराया है. मुख्तार अंसारी के बेटे द्वारा योगी सरकार पर पिता के साथ ज्यादती का आरोप लगाया जाता रहा है. एक बार फिर समाजवादी पार्टी गठबंधन की ओर से चुनावी मैदान में उतरने की खबर ने प्रदेश की राजनीति में हलचल बढ़ा दी है.भाजपा सपा पर हमलावर हो गयी है.