Patna : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पटना में शनिवार को श्रीकृष्ण सिंह की जयंती समारोह में हिस्सा लिया और इसके बाद मीडिया को संबोधित किया. इस दौरान जब उनसे मोतिहारी में दिए गए बीजेपी से दोस्ती वाले बयान के बारे में सवाल किया गया, तो नीतीश ने कहा कि उनके बयान का गलत मतलब निकाया गया. कहा कि भाजपा को लेकर मोतिहारी के कार्यक्रम में दिए उनके बयान का गलत मतलब निकाला गया है. उन्होंने एक कार्यक्रम के दौरान भाजपा नेताओं को उन दिनों की याद दिलाई, जब वो सरकार में साथ थे. सीएम बोले कि शुरू से कितना काम हुआ है, हम वो याद दिलाते रहे हैं. भाजपा के साथ होने का वह बयान बिल्कुल नहीं था. इसके बाद उन्होंने मीडिया के सामने ही अपने बगल में खड़े डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव के कंधे पर हाथ रखा. फिर कहा कि ये बच्चा ही हम लोग का सबकुछ है. हम साथ मिलकर अच्छा काम कर रहे हैं. नीतीश के इस बयान के सियासी गलियारों में कई मायने निकाले जा रहे हैं. बीजेपी से नाता तोड़ कर महागठबंधन के साथ सरकार बनाने के बाद पिछले साल नीतीश ने तेजस्वी यादव को अपना उत्तराधिकारी घोषित किया था. उन्होंने कहा था कि 2025 का विधानसभा चुनाव तेजस्वी के नेतृत्व में ही लड़ा जाएगा.
बिहार की राजनीति में हलचल तेज
नीतीश कुमार के इस बयान के बाद बिहार की राजनीति में हलचल तेज हो गयी है. बिहार के राजनीतिक गलियारे में यह सवाल उठाने लगा है कि नीतीश कुमार आने वाले दिनों बिहार की कमान तेजस्वी यादव को देने वाले हैं. इस मामले को लेकर बिहार कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अखिलेश सिंह ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के तेजस्वी पर दिए गए बयान का समर्थन किया. कहा कि मुख्यमंत्री जी का यह बयान पहली बार नहीं आया है. नीतीश कुमार पहले भी इस तरह का बयान दे चुके हैं. वहीं इस पूरे मामले पर जेडीयू के सीनियर लीडर केसी त्यागी ने कहा कि यह निर्विवाद और सत्य है. जिस तरह पिछले चुनाव में तेजस्वी यादव ने अपनी पार्टी का नेतृत्व करके जो स्थान बनाया, वह उनकी मेहनत की समझ है. वे अपने पिता श्री के पद चिन्ह पर चलकर उस स्थान को प्राप्त करने की ओर बढ़ रहे हैं. नीतीश कुमार गठबंधन के सर्वमान्य नेता हैं और गठबंधन में नंबर दो की पोजीशन निर्विरोध रूप से तेजस्वी यादव की है.