Patna : बिहार में शराबबंदी कानून को लेकर पटना हाइकोर्ट ने नीतीश सरकार को फटकार लगाई है. कोर्ट ने कड़ी टिप्पणी करते हुए कहा कि शराबबंदी को सही तरीके से लागू नहीं किया गया. अधिकारी शराब की तस्करी रोकने में नाकाम हैं. शराबबंदी कानून लागू होने के बाद राज्य में अन्य नशीले पदार्थों के सेवन के मामले बढ़ गए हैं. कोर्ट ने यह टिप्पणी शराब तस्करी और खरीद-फरोख्त के कई मामलों पर सुनवाई करते हुए की है.
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अपने 20 पेज के आदेश में कोर्ट ने आठ बिंदुओं पर चर्चा की. हाइकोर्ट के जज पूर्णेन्दु सिंह ने कहा कि शराबबंदी लागू होने से पहले प्रदेश में गांजा और चरस की अवैध तस्करी और सेवन के कम मामले आते थे. साल 2016 के बाद इस तरह के मामले में इजाफा हुआ है. साथ ही कोर्ट ने यह भी कहा कि शराब न मिलने की वजह से लोग दूसरे नशीले पदार्थ का सेवन कर रहे हैं. वहीं, जहरीली शराब बनाने और बेचने के मामलों में बढ़ोत्तरी हुई हैं. प्रदेश में नेपाल के अलावा देश के कई राज्यों से शराब की तस्करी की जा रही है. शराब की तस्करी रोकने में सरकार विफल साबित हुई है. कोर्ट ने कहा कि इस धंधे में नाबालिगों को भी धकेला जा रहा है, जो चिंतनीय है. साथ फर्जी रजिस्ट्रेशन वाले वाहनों से भी तस्करी के मामले लगातार सामने आ रहे हैं. साथ ही कोर्ट ने कहा कि शराब तस्करी और जब्ती मामले में पुलिस की जांच में ढिलाई के कारण तस्कर बच जाते हैं.
बता दें कि, साल 2016 में नीतीश सरकार ने बिहार में शराबबंदी कानून को लागू किया था. उसके बाद भी राज्य में शराब तस्करी जोरों पर है. शराब घर तक पहुंचाया जा रहा है.
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