Hazaribagh: चौपारण प्रखंड मुख्यालय परिसर में सोमवार को चलंत लोक अदालत सह विधिक जागरुकता शिविर का आयोजन हुआ. इसका आयोजन जिला विधिक सेवा प्राधिकार हजारीबाग सचिव गौरव खुराना के निर्देश पर हुआ. चलंत लोक अदालत शिविर में अधिवक्ता सह पैनल लॉयर मुरली कुमार राणा, पीएलवी छोटू राम और हरेंद्र राणा शामिल थे. अधिवक्ता राणा ने कानूनी जागरुकता से संबंधित जानकारी दी. उन्होंने कहा कि अधिकांश लोगों को कानून के बारे में जानकारी नहीं होती है. इससे सामाजिक न्याय से वंचित रह जाते हैं. भारत के एक भी व्यक्ति न्याय से वंचित नहीं रहे. विशेषकर महिलाओं को सुगमतापूर्वक कानूनी जानकारी और न्याय मिल सके, इसके लिए चलंत लोक अदालत के जरिये प्रखंड के भिन्न-भिन्न क्षेत्रों में शिविर लगाया जा रहा है.
कहा कि इसी कड़ी में चौपारण में चलंत लोक अदालत का शिविर लगाया गया है. इसमें लोग उपस्थित होकर लाभ उठाएं. अधिवक्ता ने कहा कि न्यायालय में शीघ्र एवं सस्ता न्याय मिलना अभी के समय में बहुत कठिन हो गया है. संविधान के अनुच्छेद 39 (क) में हर नागरिक को सामाजिक न्याय प्रदान करने की बात की गई है. इसके अनुसार कोई भी व्यक्ति आर्थिक या किसी अन्य कारण से न्याय से वंचित नहीं रह सकता. हर नागरिक को समान अवसर के साथ-साथ आसानी से न्याय उपलब्ध होना चाहिए. इसी उद्देश्य की पूर्ति के लिए 1987 में विधिक सेवा प्राधिकरण अधिनियम के अंतर्गत केंद्र, राज्य एवं जिला स्तर पर विधिक सेवा प्राधिकरण एवं उच्च न्यायालय विधिक सेवा समिति, उप समिति एवं तहसील विधिक सेवा समिति का गठन किया गया. इसके अंतर्गत लोगों को सरकारी खर्च पर वकील, कोर्ट फीस के लिए खर्च, अभिलेख कागजातों को तैयार करने का खर्च, गवाहों को आने-जाने का खर्च, मुकदमे से संबंधित अन्य जरूरी खर्च कि सुविधाएं लोगों को प्राप्त करवाना है.
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हरेंद्र राणा ने कहा कि इसमें अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति एवं सभी महिला सदस्य अनैतिक अत्याचार के शिकार लोग या ऐसे लोग जिनका सामाजिक शोषण किया जाता है, वैसी महिलाएं एवं बच्चे मानसिक रोगी एवं दिव्यांग व्यक्ति, जातीय हिंसा, बाढ़, सूखा, भूकंप में पीड़ित व्यक्ति औद्योगिक श्रमिक, कारागृह, किशोर मनोचिकित्सक अस्पताल मनोचिकित्सीय परिचर्या अभिरक्षा में रखे गए व्यक्ति ऐसे सभी लोग जिनकी वार्षिक आमदनी तीन लाख से कम है. वह विधिक सेवा पाने के हकदार हैं. विधिक सेवा प्राप्त करने का हकदार व्यक्ति अपने संबंधित जिले के सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण या झारखंड उच्च न्यायालय विधिक सेवा समिति सचिव को प्रखंड में नियुक्त पीएलवी व अधिवक्ता के माध्यम से आवेदन पत्र दिए गए प्रारूप पर अपने मुकदमे का संक्षिप्त विवरण के साथ दे सकता है. उन्हें नि:शुल्क विधिक सहायता प्रदान की जाती है. चलंत लोक अदालत शिविर में सांसद प्रतिनिधि राजेन्द्र चंद्रवंशी, कांग्रेस नेता बैजू गहलौत, पंचायत समिति सदस्य विजय मधेशिया और बीरबल साहू समेत कई लोग मौजूद थे.
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