Ranchi : तमाम वैज्ञानिक विकास के बावजूद स्त्री के प्रति आम मानसिकता में बदलाव नहीं आया है. हास्य-व्यंग्य से लबरेज नाटक नागमंडल अंततः यही संदेश देता है कि स्त्री भी एक इंसान है. इसका मंचन सोमवार को मोरहाबादी के आर्यभट्ट सभागार में नाट्यालय और फाइन आर्ट डिपार्टमेंट, रांची विश्वविद्यालय की ओर से किया गया. नाटक की शुरुआत नायक एवं नायिका के मनमोहक विवाह दृश्य से हुई. मंच पर नाग और कुत्ते की लड़ाई के दृश्य को प्रकाश सज्जा ने और आकर्षित बनाया.
इनके अभिनय और सहयोग ने किया नाटक जीवंत
राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय के पासआउट रौशन सौरभ शर्मा और आयुषी भद्रा के निर्देशन में शुकंठ ठाकुर, तन्वी बरदियार, अनुष्का भद्रा, आयुषी भद्रा, शिवम मनोहरन, अथर्व सिन्हा, मानसी विश्वास, अभिषेक सूरज, जोतिया, बादल और बाल कलाकार के रूप में चिराग व अनुष्का के अभिनय ने नाटक को जीवंत किया.
नृत्य निर्देशन में आयुषी भद्रा का सहयोग रहा
इसके अलावा साउंड में अंकिता केरकेट्टा, लाइट प्रदीप बोस, साउंड सेटअप देवाशीष, वस्त्र सज्जा सावित्री कुमारी, रूप सज्जा कविता, दीपिका, मंच प्रबंधन सुकंठ ठाकुर, आयुषी भद्रा, अंकिता केरकेट्टा, तन्वी बरदियार, अथर्व सिन्हा, अभिषेक यादव और नृत्य निर्देशन में आयुषी भद्रा का सहयोग रहा. सेट डिजाइन और लाइट परिकल्पना रौशन सौरभ शर्मा , कुलदीप और देवाशीष की रही.
वीसी समेत अहम लोगों ने उठाया नाटक का आनंद
नाटक का आनंद बतौर मुख्य अतिथि रांची विश्विविद्यालय की कुलपति डॉ कामनी कुमार, विशिष्ट अतिथि परफोर्मिंग एवं फाइन आर्ट्स विभाग की निदेशिका डॉ नीलिमा पाठक, प्रशिक्षक विपुल नायक, कुलसचिव डॉ मुकुंद मेहता, सीसीडीसी प्रो राजेश उपाध्याय, छात्र कल्याण विभाग से डॉ राजकुमार शर्मा, परीक्षा नियंत्रण से डॉ एके झा, वित्त अधिकारी डॉ कुमार एएन शाहदेव, कुलानुशासक डॉ टीएन साहू, मिशन ब्लू के पंकज सोनी, भोजपुरी युवा विकास मंच के अध्यक्ष आशुतोष द्विवेदी, भाजपा नेता अनिल कुमार राम, मुकेश नायक, जितेंद्र सिंह पटेल, कुमुद झा, चतुर साहू, रंगकर्मी संजय लाल, कमल बोस, दीपक लोहार, शशांक पाठक, अवनीश भारद्वाज और अनिल ठाकुर समेत भरे सभागार ने उठाया. मंच संचालन मृणाल पाठक ने किया. नाट्यालय के संस्थापक शिवम मनोहरन ने यह जानकारी दी.
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