Pramod Upadhyay
Hazaribagh : पिछले कुछ दिनों से हजारीबाग में पौधे लगाओ, पर्यावरण बचाओ…का नारा तार-तार हो रहा है. जहां पर्यावरण संरक्षण के लिए पेड़ लगाने के लिए शिक्षण संस्थानों के ही शिक्षक और बच्चे समाज को जागरुकता संदेश देते हैं, उन्हीं शिक्षण संस्थानों के कैंपस से हरे-भरे वृक्षों को काट दिया जा रहा है. कोई चोरी की बात कह रहा है, तो कोई नुकसान पहुंचने की बात कह रहा है. कोई कह रहा कि स्कूल की चहारदीवारी को नुकसान पहुंच रहा था, तो 11 हजार वोल्ट का तार सट रहा था, तो कोई भवन बनाने में पेड़ों को अड़चन बता रहा है.
संत कोलंबा कॉलेज से काट डाले गए ढाई दर्जन पेड़
केस-1 : पहले संत कोलंबा कॉलेज से करीब तीन दर्जन हरे-भरे पेड़ काट डाले गए. यहां बताया गया कि पेड़ों की वजह से जलस्तर घटने लगा था. प्राचार्य डॉ. विमल रेवेन ने बताया कि कैंपस में यूकोलिप्टस और सागवान के पेड़ थे. करीब ढाई दर्जन पेड़ों को वन विभाग का आदेश लेकर कटवाया गया. साथ ही इन पेड़ों की लकड़ियों से डेढ़ लाख रुपए आए. सवाल यह उठ रहा कि इतने वर्षों से खड़े पेड़ों की वजह से अब तक जलस्तर क्यों नहीं घटा था. अगर पेड़ इतना अधिक पानी पीते हैं, तो फिर वृक्ष लगाओ, पर्यावरण बचाओ…का नारा देने का औचित्य क्या है ?
इंदिरा गांधी से गायब हो गए आधा दर्जन वृक्ष
केस-2 : इंदिरा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय के कैंपस से आधा दर्जन से अधिक वृक्ष को खत्म कर दिया गया. इंदिरा गांधी स्कूल की प्राचार्या कुमारी इंदू का कहना है कि कैंपस में कई भवन बनाए जा रहे हैं और उन्हें बताकर पेड़ नहीं काटे गए हैं. इमारती लकड़ियों के लिए चोरी-छिपे कोई पेड़ काट रहा है.
संत रॉबर्ट बालिका विद्यालय से धराशायी कर दिए गए फलदार समेत दो विशालकाय वृक्ष
केस-3 : संत रॉबर्ट बालिका उच्च स्कूल के कैंपस से दो हरे-भरे पेड़ काट दिए गए. वर्षों से इस स्कूल कैंपस की चहारदीवारी के पास दो विशालकाय वृक्ष थे. इनमें एक फलदार आम का पेड़ और दूसरा विशाल बरगद का पेड़ था. स्कूल की प्रिंसिपल सिस्टर सविता ने बताया कि इस पेड़ में 11,000 वोल्ट के तार छू रहे थे. वहीं चहारदीवारी को भी नुकसान पहुंच रहा था. स्कूल की ओर से यह स्पष्ट नहीं किया गया कि वन विभाग से मौखिक आदेश लिया गया था या लिखित. एक पेड़ कटवाते वक्त वन विभाग के कर्मी भी यहां आए थे.
![पौधे लगाओ, पर्यावरण बचाओ…का नारा तार-तार](https://i0.wp.com/lagatar.in/wp-content/uploads/2023/02/st-roberttree-21_302-e1676977090862.jpg?resize=1280%2C864&ssl=1)
पेड़ों के काटने के बारे में पता नहीं : रेंजर
पूर्वी वन विभाग हजारीबाग के रेंजर विजय कुमार ने बताया कि संत कोलंबा और संत रॉबर्ट उन्हीं के क्षेत्र में आते हैं. लेकिन उन्हें जानकारी नहीं है कि पेड़ कटवाने का आदेश लिया गया अथवा नहीं. उन्होंने कहा कि यूकोलिप्टस से जलस्तर घटता है, लेकिन सागवान के पेड़ से ऐसी कोई बात नहीं है. लकड़ियों की खरीद-फरोख्त से भी वह अनभिज्ञ हैं.
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