Ranchi : राजधानी रांची में हाल के महीने में कई अपराधिक मामले घटित हुए है. इनमें कुछ मामले पूरे राज्यभर में चर्चित हुए थे. जिनमें वृंदावन कंस्ट्रक्शन के मालिक के ऑफिस पर गोलीबारी,बहुचर्चित ओरमांझी सूफिया परवीन हत्याकांड, सीएम काफिला पर हमला, अधिवक्ता मनोज झा हत्याकांड शामिल है. एसएसपी सुरेंद्र कुमार झा के नेतृत्व में रांची पुलिस की टीम इन सभी चर्चित मामले का खुलासा किया और इनमें शामिल सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. इसके अलावा कई आरोपियों ने पुलिस की दबिश से परेशान होकर कोर्ट में सरेंडर कर दिया.
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वृंदावन कंस्ट्रक्शन के मालिक के ऑफिस पर गोलीबारी मामला
15 अगस्त 2020 को बाइक सवार दो अपराधियों ने वृंदावन कंस्ट्रक्शन के मालिक अभय सिंह (मृत) के मोरहाबादी स्थित ऑफिस में फायरिंग की थी. इस गोलीबारी में ऑफिस में तैनात गार्ड बाल-बाल बच गया और गोली दीवार में जा लगी. एसएसपी सुरेंद्र कुमार झा के निर्देश पर पुलिस की टीम ने इस घटना में शामिल चार अपराधी को गिरफ्तार किया था. गिरफ्तार अपराधियों ने पुलिस को बताया था कि जेल में बंद सुजीत सिन्हा के इशारे पर बिल्डर अभय सिंह से 2 करोड़ रुपए की रंगदारी मांगी गई थी. इसी को लेकर गोलीबारी की गई थी.
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बहुचर्चित ओरमांझी सूफिया परवीन हत्याकांड
ओरमांझी थाना क्षेत्र के जीराबार जंगल से बीते 3 जनवरी को सिर कटी युवती का शव बरामद हुआ था. इसको लेकर रांची में काफी विरोध प्रदर्शन हुआ था. यह मामला पूरे राज्यभर में चर्चित हुआ था. गौरतलब है एसएसपी सुरेंद्र कुमार झा के निर्देश पर गठित पुलिस की टीम ने घटना के नौ दिन के बाद बीते 12 जनवरी को युवती का सिर रांची के पिठौरिया थाना क्षेत्र के चंदवे बस्ती से बरामद किया था. युवती की पहचान सूफिया परवीन के रूप में हुई थी. इसके अलावा युवती का कपड़ा और गला काटने के लिए इस्तेमाल की गई धारदार हथियार को भी पुलिस ने बरामद कर लिया था. पुलिस ने इस मामले हत्या के आरोपी शेख बेलाल और उसकी पत्नी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था.
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मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के काफिले को रोकने की कोशिश
बीते 3 जनवरी को ओरमांझी में युवती के साथ दुष्कर्म के बाद सिर कटा शव बरामद हुआ था. इस घटना के आक्रोश में लोगों ने 4 जनवरी को किशोरगंज चौक पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के काफिले को रोकने की कोशिश की थी, उस दौरान काफिले के आगे चलने वाली पायलट गाड़ी को रोककर क्षतिग्रस्त कर दिया गया था. इसके साथ ही रास्ता क्लियर कराने की कोशिश कर रहे ट्रैफिक सिपाही और पुलिसकर्मियों के साथ उनकी झड़प भी हुई. इस दौरान कई निजी वाहन क्षतिग्रस्त हुए थे. इस मामले में 72 नामजद और 50 अज्ञात महिला पुरुषों के खिलाफ सुखदेव नगर थाना में मामला दर्ज कराया गया था. एसएसपी सुरेंद्र झा के निर्देश पर पुलिस टीम ने इस घटना में शामिल कई आरोपियों को जेल भेजा. वहीं पुलिस की दबिश से परेशान होकर मुख्य आरोपी भैरव सिंह समेत कई ने सरेंडर कर दिया था.
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चर्चित अधिवक्ता मनोज झा हत्याकांड
26 जुलाई को रांची के तमाड़ थाना क्षेत्र में अपराधियों ने अधिवक्ता मनोज कुमार झा की गोली मारकर हत्या कर दी थी. एसएसपी सुरेंद्र झा के निर्देश पर गठित पुलिस की टीम ने कार्रवाई करते हुए इस घटना में शामिल मुख्य आरोपी अफसर समेत सात अपराधियों को गिरफ्तार किया था. अपराधियों ने पुलिस के समक्ष खुलासा किया कि अधिवक्ता की हत्या संत जेवियर संस्था की 14 एकड़ जमीन की वजह से ही की गई थी.
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