Saurabh Singh
Ranchi/ Latehar : झारखंड पुलिस बदल रही है. साइबर की वर्चुअल दुनिया से लेकर उग्रवादियों की चुनौतियों के मुकाबले के लिए पुलिस के जवानों और अफसरों को तैयार किया जा रहा है. बदलते वक्त की जरूरतों के साथ झारखंड पुलिस के प्रशिक्षण संस्थानों के स्वरूप में भी बदलाव लाया जा रहा है, लेकिन सरकार की ओर से झारखंड पुलिस के प्रशिक्षण संस्थानों में मैनपावर की कमी दूर करने के लिए कोई ठोस पहल नहीं की जा रही है. झारखंड पुलिस के विभिन्न प्रशिक्षण संस्थानों में पदाधिकारियों और कर्मियों के कुल 442 पद खाली हैं. ऐसे में जवानों का प्रशिक्षण भी प्रभावित हो रहा है.
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जानें कहां कितने पद हैं रिक्त
झारखंड पुलिस के प्रशिक्षण संस्थानों में कुल 442 पद रिक्त हैं, जिनमें झारखंड पुलिस अकादमी हजारीबाग में 77, जेएपीटीसी पदमा में 29, जंगल वारफेयर स्कूल नेतरहाट में 101, टीटीटीएस जमशेदपुर में 01, आईटीएस होटवार में 41 और सीटीसी मुसाबनी में 193 पद खाली हैं. मैनपावर की कमी की वजह से पुलिस कर्मियों के प्रशिक्षण में परेशानी हो रही है. प्रशिक्षण में विलंब होने के कारण पुलिस कर्मियों की प्रोन्नति और इससे जुड़े लाभ समय पर नहीं मिल पा रहे हैं.
3716 प्रशिक्षुओं का प्रशिक्षण लंबित
राज्य में 3716 पुलिसकर्मियों को प्रशिक्षण दिया जाना है. झारखंड पुलिस एकेडमी हजारीबाग में 243, जेएपीटीसी पदमा में 1430, जंगल वारफेयर स्कूल नेतरहाट में 854, टीटीटीएस जमशेदपुर में 166 और आईटीएस होटवार में 1023 प्रशिक्षुओं का प्रशिक्षण लंबित है.
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