Baharagora (Himanshu Karan) : बनकाटा पंचायत के बनकाटा में आंगनबाड़ी केंद्र है या फिर मौत का कुआं यह समझ पाना मुश्किल है. क्योंकि इस केंद्र के भवन का आधा से भी अधिक भाग गहरे पानी में डूबा हुआ है. पानी में बत्तख तैरते नजर आते हैं. वहीं केंद्र का चापाकल भी महीनों से पानी में डूबा पड़ा है. केंद्र में जाने के लिए सड़क से पतली पगडंडी है. ऐसे में इस आंगनबाड़ी केंद्र में पढ़ने वाले लगभग 35 मासूम सुरक्षित नहीं हैं. जरा सी चूक हुई तो फिर कोई भी मासूम पानी में डूब सकता है. इस आंगनबाड़ी केंद्र की यह स्थिति कई सालों से है. परंतु इस पर किसी की नजर नहीं है. भारी वर्षा होने के बाद तो यह केंद्र पानी में डूब जाता है. बाल विकास परियोजना विभाग के पदाधिकारी तमाशबीन बने हैं.
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केंद्र की सहायिका गांव के चापाकल से लाती हैं भोजन बनाने के लिए पानी
इस केंद्र के भवन का आधे से अधिक भाग तलाबनुमा गड्ढे में डूबा है. भवन का शौचालय और रसोई घर गहरे पानी में डूबा हुआ है. इसके कारण शौचालय और रसोईघर जाने वाले दरवाजे पर ताला बंद रखा गया है. भवन के चारों ओर झाड़ियों की भरमार है. चापाकल के पानी में डूबे रहने के कारण बच्चों के भोजन बनाने के लिए दूर के चापाकल से पानी लाया जाता है. केंद्र की सहायिका लक्ष्मी रानी सिंह ने बताया कि भोजन बनाने के लिए पानी गांव के चापाकल से लाना पड़ता है. ऐसे हालात में आंगनबाड़ी केंद्र की सेविका और सहायिका को भी परेशानियां झेलनी पड़ रही है. इस संबंध में पंचायत की मुखिया नमी सिंह ने कहा कि आंगनबाड़ी केंद्र की इस स्थिति को उन्होंने संज्ञान में लिया है. शीघ्र ही पंचायत स्तर से आंगनबाड़ी से सटे गड्ढे को भरवाया जाएगा और आंगनबाड़ी केंद्र की चहारदीवारी का निर्माण कराया जाएगा.
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