Giridih : वर्ष 2018-19 में कायाकल्प अवार्ड से सम्मानित गांडेय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) खस्ताहाल है. केंद्र में महिला चिकित्सक पदस्थापित नहीं हैं. विगत 17 महीनों के दरम्यान 2794 गर्भवती महिलाओं का एएनएम ने प्रसव कराया. प्रखंड क्षेत्र के 26 पंचायतों की गर्भवती महिलाएं प्रसव कराने के लिए इस सीएचसी पर निर्भर हैं. बेहतर साफ-सफाई रखे जाने पर इसे कायाकल्प अवार्ड मिला था. महिला चिकित्सक पदस्थापित नहीं होने से महिला मरीजों को प्रसव कराने में दिक्कत हो रही है.
इस सीएचसी में चार चिकित्सक और तीन एएनएम पदस्थापित हैं. प्रखंड क्षेत्र के 13 स्वास्थ्य उपकेंद्रों में 14 एएनएम पदस्थापित हैं. सीएचसी में ड्रेसर और कंपाउंडर आउटसोर्सिंग स्टाफ हैं. ग्रामीण क्षेत्र होने के कारण गर्भवती महिलाएं प्रसव के लिए सीएचसी पर निर्भर हैं. वर्ष 2021-22 और 2022-23 में प्रसव कराने वाली गर्भवती महिलाओं की संख्या ज्यादा रही. 2021 के अप्रैल में 155, मई-108, जून-129, जुलाई-139, अगस्त-138, सितंबर-167, अक्तूबर-169, नवंबर-145, दिसंबर-150 महिलाओं ने प्रसव कराई.
वर्ष 2022 के जनवरी में 188, फरवरी-174, मार्च-197, अप्रैल-179, मई- 149, जून-167,जुलाई-222 और अगस्त में 218 महिलाओं का प्रसव किया गया. कुल मिलाकर 17 महीनों में 2794 महिलाओं का प्रसव बिना महिला चिकित्सक के किया गया. एएनएम के भरोसे इतनी बड़ी संख्या में प्रसव होना कितना सुरक्षित है, इसपर सवाल उठना लाजिमी है?
प्रशिक्षित एएनएम करवाती है प्रसव
इस संबंध में पूछे जाने पर सिविल सर्जन डॉ. शिव प्रसाद मिश्रा ने बताया कि जिले में महिला चिकित्सकों की कमी है. गांडेय सीएचसी में प्रशिक्षण प्राप्त एएनएम प्रसव करवाती है. इसमें किसी प्रकार का जोखिम नहीं है. सीएचसी में महिला चिकित्सक को पदस्थापित करने को लेकर कई बार स्वास्थ्य विभाग मुख्यालय को पत्र भेजा गया. अब तक महिला चिकित्सक को नहीं भेजा गया है.
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