Ranchi: झारखंड सरकार शिक्षा में भी तुष्टिकरण की नीति अपनाकर शिक्षकों को अपमानित कर रही है. सरकारी स्कूलों पर राज्य के वित्तमंत्री का बयान राज्य की शिक्षा व्यवस्था एवं शिक्षण कार्य मे लगे शिक्षकों का अपमान है. बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने रामेश्वर उरांव के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए यह बातें कही. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की जिम्मेवारी शिक्षा व्यवस्था सुधारने की है, लेकिन यह सरकार अपनी जिम्मेवारियों से भागना चाहती है. शिक्षकों पर दोषारोपण करके राज्य सरकार अपनी विफलताओं को छिपाने का प्रयास कर रही है.
सत्ता के नशे में चूर मंत्री, विधायक दे रहे गैर जिम्मेदाराना बयान
दीपक प्रकाश ने कहा कि शिक्षा राज्य सूची का विषय है. उन्होंने सरकार से मांग की है कि राज्य के सरकारी स्कूलों में उच्च स्तरीय और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा व्यवस्था हो, बुनियादी ढांचा सुदृढ हो, विषयवार शिक्षकों की नियुक्ति कर पद भरे जाएं, शिक्षकों को शिक्षण कार्य के अतिरिक्त अन्य कार्य में न लगाया जाये, सुविधायुक्त पदस्थापन हो. दीपक प्रकाश ने कहा कि राज्य के प्राइवेट स्कूल आम आदमी, गरीब, मजदूर, किसान के बच्चों के लिये सुलभ नहीं है. राज्य की अधिकांश आबादी गांव में निवास करती है और सुदूरवर्ती क्षेत्रों में सरकारी स्कूल ही शिक्षा के साधन हैं. उन्होंने कहा कि सत्तामद में चूर राज्य सरकार के मंत्री, विधायक लगातार गैर जिम्मेदाराना बयान दे रहे हैं.
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पत्रकार बैजनाथ महतो के हमलावरों को मिले कड़ी सजा
दीपक प्रकाश ने रांची में पत्रकार बैजनाथ महतो पर हुए जानलेवा हमले की भी कड़ी निंदा की है. उन्होंने अपराधियों को जल्द से जल्द गिरफ्तार कर कठोर सजा दिलाने की मांग की है. उन्होंने सरकार से बैजनाथ महतो को हर जरूरी चिकित्सा सहायता उपलब्ध कराने की मांग की. दीपक प्रकाश ने कहा कि इस सरकार में कोई सुरक्षित नहीं है. दलित, आदिवासी, महिला, बहन, बेटी, जज, वकील, पत्रकार, व्यवसायी सब में भय व्याप्त है. राज्य की पुलिस केवल सरकार के इशारे पर काम करना ही अपनी जिम्मेवारी समझती है, जबकि आम आदमी की सुरक्षा पुलिस प्रशासन की प्राथमिकता होनी चाहिए.
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