Jamshedpur : हेंमत सरकार के 27 माह के कार्यकाल में जनता को सिर्फ निराशा हाथ लगी है. किसी भी सरकार की पहली जिम्मेदारी लॉ और ऑर्डर बनाए रखने की होती है लेकिन राज्य सरकार उसमें ही पूरी तरह से विफल साबित हुई है. आज न सिर्फ सरकार की सह पाकर सरकारी तत्रं अवैध वसूली में जुटा है बल्कि खुद हेमंत सोरेन भी अवैध तौर पर वसूली में जुटे हुए हैं. उक्त सारी बातें शहर पहुंचे नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने रविवार को सर्किट हाउस में आयोजित प्रेस वार्ता के दौरान कही है. उन्होंने कहा कि कुछ दिनों पहले मुख्यमंत्री ने अपने नाम पर खदान की लीज करवाई थी. इतना ही नहीं उन्होंने अपने प्रेस सलाहकार और विधायक प्रतिनिधि के नाम पर लीज करवाई थी. पद में रह कर खदान की लीज अपने नाम करना नियम के विरूध है. इसके खिलाफ हमनें राज्यपाल से मुख्यमंत्री को इस्तीफा देने की मांग की है. अभी खदान विभाग के अनुसार मुख्यमंत्री ने अपनी लीज सरेंडर कर दी है. लेकिन यहां सोचने वाली बात है कि चोरी के बाद समान लौटा देने से चोरी का अपराध कम नहीं हो जाता है. अगर मुख्यमंत्री में थोड़ी भी शर्म बाकी है तो वह जल्द इस्तीफा दें.
इसे भी पढ़े : जीएसटी काउंसिल की बैठक में 5 प्रतिशत GST वाले प्रोडक्ट्स पर टैक्स बढ़ाकर 9 फीसदी तक करने की तैयारी
विकास लाने में भी सरकार असफल, राज्य में बिजली और पानी को तरस रहें है लोग
बाबूलाल मरांडी ने कहा कि हेमंत सरकार के कार्यकाल में डकैती, अपहरण, बहू-बेटियों के साथ बलात्कार की घटनाएं आम बात हो गई है. रघुवर दास की सरकार में उग्रवाद खत्म हो चुका था, लेकिन हेमंत सरकार के आने के बाद राज्य में उग्रवाद की घटनाएं रूकने का नाम नहीं ले रही है. सरकार की दूसरी जिम्मेदारी विकास होती है, लेकिन वर्तमान सरकार उसमें भी विफल साबित हुई. आज लोग बिजली और पानी को तरस रहें है. दूसरी तरफ सरकार के सभी तत्रं अवैध वसूली में जुटे हैं. एक तरफ झारखंड राज्य में आज बालू बचा नहीं है तो दूसरी ओर बालू की अवैध ढुलाई पर प्रशासन अवैध वसूली में मग्न है. स्वास्थ्य मंत्री पर सरयू राय के लगाए आरोप पर बाबूलाल मरांडी ने कहा कि जिस राज्य का मुख्यमंत्री ही अवैध काम में लिप्त है वहां क्या सही हो सकता है. मुख्यमंत्री के इस्तीफे के साथ सारी फसाद की जड़ समाप्त हो जाएगी.
इसे भी पढ़े : बेरमो: फंदे पर झूलता मिला नवविवाहिता का शव, पुलिस जांच में जुटी
भाषा विवाद और खतियान के सवाल पर गोल-मटोल जबाव दे छुड़वाया पीछा
मालूम हो कि प्रेस वार्ता में जब बाबूलाल मरांडी से पूछा गया कि हेमंत सरकार लगातार भाजपा के ऊपर सरकार गिराने की साजिश का आरोप लगाते आई है तो उसपर उन्होंने कहा कि जो सरकार ही अवैध काम में संलिप्त हो उसे क्यों न हटाया जाए. यह सिर्फ खुद का खजाना भरना चाहती है. सरकार ने जनता के हित के लिए कुछ नहीं किया है. ऐसे में तो बेहतर है कि सरकार हट ही जाए. विदित हो कि भाषा विवाद और खतियान के संबंध में नेता प्रतिपक्ष ने पिछली सरकार में लिए गए फैसले पर बातें गोल-मटोल घुमानी शुरू कर दीं. इस प्रेस वार्ता के दौरान बीजेपी जिलाध्यक्ष गुजंन यादव, प्रदेश प्रवक्ता कुणाल षांड़गी, महामंत्री अनिल मोदी, राकेश सिंह आदि मौजूद थें.
इसे भी पढ़े : रांची के आलिमों ने दिया आपसी भाईचारा और मोहब्बत का पैगाम