Saurav Singh
Ranchi : मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ईडी ने कार्रवाई करते हुए आईएएस पूजा सिंघल को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. झारखंड में यह पहला मामला नहीं है, जब किसी बड़े अफसर के खिलाफ ईडी ने कार्रवाई की है. इससे पहले भी राज्य के कई अफसरों के खिलाफ ईडी ने कार्रवाई करते हुए उन्हें जेल भेजा है और उनकी संपत्ति को जब्त किया है.
इसे भी पढ़ें – हाईकोर्ट के समक्ष उपस्थित हुए DGP नीरज सिन्हा, कोर्ट ने मांगा जवाब
IPS प्रिया दुबे और उनके पति की संपत्ति ईडी ने किया था जब्त
ईडी ने बीते 26 दिसंबर 2021 को आईपीएस प्रिया दुबे और उनके पति की संपत्ति को जब्त किया था. संपत्ति रांची के पॉश इलाके अशोक नगर में 30 लाख में खरीदी गई एक भूखंड, दिल्ली के डिफेंस कॉलोनी में तीन कमर्शियल शॉप और एक फ्लैट जब्त किया गया है. जिसकी कीमत 72 लाख 40 हजार आंकी गई है. वहीं, रांची में 43 लाख 85 हजार 400 रुपये में ग्रीन व्यू हाइट्स में खरीदी गई फ्लैट को भी जब्त किया था. ईडी की प्रिया दुबे पर कार्रवाई सीबीआई में प्रिवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट के तहत दर्ज केस के आधार पर की गई थी. इसके अलावा अलग से मनी लाउंड्रिंग के मामले की जांच करते हुए, इस मामले में कार्रवाई की गई थी. ईडी ने संतोष कुमार दुबे, प्रिया दुबे और दूसरे के नाम पर खरीदी गई संपत्ति को जब्त किया था.
गौरतलब है कि सीबीआई ने 10 जुलाई 2013 को आरपीएफ के तत्कालीन कमांडेंट संतोष कुमार दुबे और अन्य के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया था. सीबीआई ने प्रिया दुबे और संतोष कुमार दुबे की 1998 से 2013 के बीच अर्जित सैलरी और दूसरे स्रोतों से होने वाली आय की जानकारी जुटायी थी. जांच में यह बात आयी थी कि ज्ञात स्रोत से 1 करोड़ 57 लाख 27 हजार की आय दोनों ने की थी, लेकिन उनके पास से 2.65 करोड़ की संपत्ति मिली. सीबीआई ने पाया था कि दोनों पदाधिकारियों ने पद पर रहते हुए अपने आय से 1.48 करोड़ अधिक की कमाई की. सीबीआई ने जांच में पाया था कि भ्रष्ट और गलत तरीकों से यह आमदनी की गई है. जांच में आये तथ्यों के आधार पर सीबीआई ने इस मामले में मनी लाउंड्रिंग की धाराओं के तहत केस दर्ज किया था.
इसे भी पढ़ें –रिमांड अवधि में वकील और परिजन से मिल सकेंगी IAS पूजा सिंघल, 5 दिनों की रिमांड आज से शुरू
ईडी ने पूर्व स्वास्थ्य सचिव की संपत्ति किया था जब्त
ईडी ने 1991 बैच के आईएएस अधिकारी डॉ प्रदीप कुमार और उनके करीबियों की रांची, उदयपुर, कोलकाता और बेंगलुरु की संपत्ति जब्त की थी. जब्त की गयी संपत्ति का रजिस्ट्री मूल्य करीब दो करोड़ रुपये के करीब था. जबकि बाजार मूल्य 10 करोड़ रुपये बतायी जाती है. ईडी ने झारखंड में पहली बार किसी भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी की संपत्ति मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत जब्त की थी. गौरतलब है कि प्रदीप कुमार की स्वास्थ्य सचिव के पद पर रहने के दौरान दवा खरीद घोटाले में भूमिका रही. सीबीआई ने इस मामले में डॉ प्रदीप को गिरफ्तार किया था. जिसके बाद साल 2012 में ईडी ने इस मामले को टेकओवर किया था. पूर्व स्वास्थ्य सचिव प्रदीप कुमार पर एक करोड़ 76 लाख रुपए के मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप है.
इसे भी पढ़ें –मिल गया सबूत! ऐस्टरॉइड के टुकड़े मिले, 6.60 करोड़ साल पहले जिसके धरती से टकराने से डायनासोरों का खात्मा हुआ था
ईडी ने पूजा सिंघल को किया गिरफ्तार
मनी लॉन्ड्रिंग केस में IAS अधिकारी पूजा सिंघल के खिलाफ बड़ी कार्रवाई हुई है. ED ने कई घंटों की पूछताछ के बाद उन्हें बीते 11 मई को गिरफ्तार कर लिया है. पिछले दिनों ईडी ने पूजा सिंघल के करीबियों के रांची और बाकी ठिकानों पर ताबड़तोड़ छापे मारे थे. छापे के दौरान ईडी को 19 करोड़ से अधिक कैश और कई अहम दस्तावेज मिले थे. दरअसल यह मामला साल 2009-10 का है, इसी समय मनरेगा घोटाला हुआ था. उसी मामले में कुछ दिन पहले ईडी ने एक साथ झारखंड, पश्चिम बंगाल, हरियाणा और राजस्थान में रेड डाली थी. तब उसी रेड के दौरान ये 19 करोड़ 31 लाख रुपये बरामद किए गए. 19 करोड़ 31 लाख रुपयों में से 17 करोड़ चार्टर्ड अकाउंटेंट अकाउंट के आवास से बरामद किए गए. बाकी रुपये एक कंपनी से मिले थे. उस समय ईडी ने पूजा सिंघल के आवास के अलावा उनके पति के रांची में स्थित अस्पताल में भी रेड डाली थी. जांच एजेंसी को सिर्फ पैसे ही बरामद नहीं हुए बल्कि कई अहम दस्तावेज भी हाथ लगे. इसके अलावा दोनों द्वारा कई फ्लैट में किए गए निवेश की बात भी सामने आयी.
इसे भी पढ़ें –चीन : तिब्बत एयरलाइन का विमान टेकऑफ के समय रनवे पर फिसला, भयंकर आग लगी