Koderma: स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने करमा मेडिकल कॉलेज भवन निर्माण का औचक निरीक्षण किया. यहां घटिया निर्माण सामग्री देख मंत्री बिफर गए. उन्होंने भवन की नींव और निर्माण में प्रयोग की गई छड़ की गुणवत्ता की जांच करने का निर्देश दिया, और इसकी रिपोर्ट 15 दिनों में मांगी. उन्होंने मेडिकल कॉलेज के प्राकल्लन राशि की समीक्षा करने की बात कही. बन्ना ने कोडरमा उपायुक्त आदित्य रंजन से जांच दल गठन करने को कहा और 15 दिनों में रिपोर्ट मांगी.
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319 करोड़ रुपये की लागत से बनना था कॉलेज
जानकारी के अनुसार, मेडिकल कॉलेज का निर्माण करीब 319 करोड़ रुपये की लागत से होना था. इसके लिए श्रम कल्याण मंत्रालय ने 69.84 एकड़ जमीन स्वास्थ्य विभाग को ट्रांसफर किया था. पहले फेज में करीब 30 एकड़ जमीन पर काम किया जाना था. जमीन हस्तांतरण संबंधी प्रक्रिया पूर्ण होने के बाद 23 सितंबर 2018 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने निर्माण कार्य का ऑनलाइन शिलान्यास किया था. 100 सीट के कॉलेज और 300 बेड के अस्पताल निर्माण कार्य को लेकर निर्माण कंपनी सिम्पलेक्स इंफ्रा. प्रा. लि. के साथ दो अगस्त 2019 को करार किया गया था. तय समय के अनुसार, निर्माण कार्य 7 जनवरी 2022 तक पूरा करना था, पर यह अवधि खत्म होने के बावजूद अब तक महज 20 प्रतिशत ही काम हो सका है. जिसके बाद निर्माण कंपनी सिम्पलेक्स इंफ्रा. प्रा. लि. को ब्लैक लिस्ट कर दिया गया है. बता दें कि मेडिकल कॉलेज को लेकर स्थानीय लोगों ने कई सपने संजो कर रखे थे, लेकिन उनके सपनो पर पानी फिरता दिख रहा है. दो सालों से कंपनी ने काम बंद कर रखा है.
मौके पर कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर, उपायुक्त आदित्य रंजन, सिविल सर्जन डॉ अनिल कुमार, गोपनीय प्रभारी जयपाल सोय, अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी अशोक कुमार व अन्य पदाधिकारी और कई जनप्रतिनिधि मौजूद रहे.