ठिबरा टाना भगत स्वतंत्रता के वंशज एक अदद आवास के लिए कार्यालयों का लगा रहे हैं चक्कर
Rajeev Kumar Oraon
Chandwa, Latehar: चंदवा प्रखंड के स्वतंत्रता सेनानियों के वंशजों को वह मान व सम्मान नहीं मिल पा रहा है, जिसके वे हकदार हैं. प्रखंड के डुमारो पंचायत के निंदरा गांव के ठिबरा टाना भगत स्वतंत्रता सेनानी के वंशज रह रहे हैं. उनका नाम चंदवा प्रखंड कार्यालय के स्मारक में अंकित है. उनकी प्रतिमा डुमारो पंचायत में लगी है. जिस ठिबरा टाना भगत ने अपनी जान की परवाह किये बिना स्वतंत्रता आंदोलन में कूद गये, उस ठिबरा भगत ने सपने में भी नहीं सोचा होगा कि उनके वंशजों को एक आवास के लिए कार्यालयों का चक्कर लगाना होगा. अविभाजित बिहार में ठिबरा टाना भगत साल 1077 में गांव के सरपंच चुने गये थे और आजीवन सरपंच रहे. साल 1991 में उनका निधन हुआ.
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वंशजों का आरोप- अबुआ आवास चयन में की गयी गड़बड़ी
स्वतंत्रता सेनानी के वंशज नीलम देवी, एतवरिया देवी और राजकुमारी देवी अबुआ आवास के लाभुकों के चयन में गड़बड़ी का आरोप लगाया है. उन्होने सोमवार को अन्य ग्रामीणों के साथ चंदवा प्रखंड कार्यालय पहुंचे और उपायुक्त को संबाधित एक ज्ञापन सौंपा. ग्राम प्रधान नन्द किशोर मुंडा के भी हस्ताक्षर हैं. ग्रामीणों ने आवास सत्यापन पदाधिकारी अजित रंजन (जनसेवक) तथा उनके सहयोगी स्वयंसेवक अशोक कुमार गोप पर योग्य लाभुकों का चयन नहीं कर अपने ही परिवार के लोगों का नाम प्राथमिकता सूची में डालने का आरोप लगाया. ग्रामीणों ने कहा कि ग्राम सभा से पारित प्राथमिकता सूची को दरकिनार कर वैसे लोगों का जियो टैग किया जाने लगा है, जिनको पहले से ही इंदिरा आवास, प्रधानमंत्री आवास योजना आदि मिल चुका है. इस बाबत जब अजीत रंजन से फोन पर संपर्क करने का प्रयास किया गया तो उनका मोबाइल बंद पाया गया.
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