NewDelhi : दिल्ली के उपमुख्यमंत्री और आप नेता मनीष सिसोदिया आज सीबीआई ऑफिस में 11 बजे पेश होंगे. मनीष सिसोदिया से सीबीआई शराब नीति मामले में पूछताछ करेगी. मनीष सिसोदिया के आवास के बाहर सुरक्षा बढ़ा दी गयी है. इससे पहले सीबीआई ने 19 अगस्त 2022 को भी सिसोदिया से पूछताछ की थी. इस बीच दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने आशंका जतायी है कि मनीष सिसोदिया को आज पूछताछ के बाद सीबीआई गिरफ्तार कर सकता है. (पढ़ें, धनबाद : रेलवे सुरक्षा बल ने ट्रेन से 42 जिंदा कछुए बरामद किये, वन विभाग को सौंपा)
संजय सिंह ने मोदी सरकार पर कसा तंज
मनीष सिसोदिया के सीबीआई ऑफिस में पेश होने से पहले आप नेता संजय सिंह ने बड़ा बयान दिया है. उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि ये मोदी जी की पुलिस है अपराध रुके न रुके मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी के लिये पूरी ताकत लगा दी है. आप आदमी के नेताओं को हाउस अरेस्ट किया जा रहा है. अरविंग केजरीवाल से इतना क्यों डरते हो मोदी जी? इन हथकंडों से कुछ नहीं होगा. वहीं गोपाल राय ने कहा कि नरेंद्र मोदी जी को केजरीवाल से इतना डर लग रहा है. लोगों को हिरासत में लिया जा रहा है, जो राजघाट जा रहे हैं. हम न डरने वाले हैं, न झुकने वाले हैं. बच्चा बच्चा मनीष सिसोदिया के साथ है. आप प्रधानमंत्री हैं आपको इतना नहीं डरना चाहिए.
ये मोदी जी की पुलिस है अपराध रुके न रुके @msisodia की गिरफ़्तारी के लिये पूरी ताक़त लगा दी है।@AamAadmiParty के नेताओं को House arrest किया जा रहा है।@ArvindKejriwal से इतना क्यों डरते हो मोदी जी?
इन हथकंडों से कुछ नही होगा। pic.twitter.com/iFpeVxqakr— Sanjay Singh AAP (@SanjayAzadSln) February 26, 2023
सीबीआई ने दूसरा समन जारी कर आज पूछताछ के लिए बुलाया
बता दें कि सीबीआई ने मनीष सिसोदिया को समन जारी कर 19 फरवरी को पूछताछ के लिए बुलाया था. लेकिन सिसोदिया उस दिन सीबीआई के सामने पेश नहीं हुए.उन्होंने बजट की तैयारियों का हवाला देकर सीबीआई से एक सप्ताह का समय मांगा था. इसके बाद सीबीआई ने मनीष सिसोदिया को दूसरा समन जारी कर 26 फरवरी को बुलाया है.
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गृह मंत्रालय ने मनीष सिसोदिया के खिलाफ केस दर्ज करने की दी थी मंजूरी
गौरतलब है कि सीबीआई ने 12 जनवरी, 2023 को सतर्कता विभाग को एक रिपोर्ट सौंपी थी. जिसमें सिसोदिया के खिलाफ भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम और आईपीसी की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज करने के लिए एलजी की मंजूरी मांगी थी. जिसके बाद एलजी ने इसको गृह मंत्रालय के जरिए राष्ट्रपति के पास भेज दिया था. रिपोर्ट में लिखा गया था कि आम आदमी पार्टी की सरकार ने 2016 में जो फीडबैक यूनिट बनायी, उसका इस्तेमाल राजनीतिक जासूसी (स्नूपिंग) के लिए होता था. फीडबैक यूनिट के लिए 1 करोड़ रुपए का सिक्रेट फंड भी आवंटित किया गया था. सीबीआई ने दिल्ली सरकार की ‘फीडबैक यूनिट’ पर जासूसी का आरोप लगाते हुए मनीष सिसोदिया और अन्य अधिकारियों के खिलाफ केस दर्ज करने की अनुमति मांगी थी. सीबीआई ने दावा किया था कि फीडबैक यूनिट ने राजनीतिक खुफिया जानकारी भी एकत्र की है. जिस पर विचार करने के बाद गृह मंत्रालय ने 22 फरवरी को मनीष सिसोदिया के खिलाफ केस दर्ज करने की मंजूरी दी थी.
25 नवंबर को सीबीआई ने सात लोगों के खिलाफ दाखिल किया था पहला आरोप पत्र
बता दें कि सीबीआई ने पिछले साल 25 नवंबर को सात लोगों के खिलाफ अपना पहला आरोप पत्र दाखिल किया था. इसमें सिसोदिया को आरोपी के रूप में नामित नहीं किया गया था. सीबीआई अधिकारियों का कहना है कि धन के लेन-देन और शराब व्यापारियों और आप नेताओं, बिचौलियों के बीच संबंधों की छानबीन में सीबीआई ने विस्तृत सामग्री एकत्र की है. इसपर सीबीआई को सिसोदिया से स्पष्टीकरण की जरूरत है.
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