NewDelhi : खबर है कि ट्विटर और इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अधिकारी इन्फॉर्मेशन टेक्नॉलॉजी के संसदीय पैनल (Parliamentary Panel) के समक्ष 18 जून को पेश होंगे. पैनल ने मीडिया प्लेटफॉर्म के दुरुपयोग की रोकथाम पर चर्चा करने के लिए उन्हें बुलाया है. सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार पैनल द्वारा तथाकथित कांग्रेस टूलकिट का मुद्दा भी उठाया जा सकता है. बता दें कि यह मामला उस डॉक्यूमेंट से संबंधित है, जिसे लेकर भाजपा द्वारा कांग्रेस पर आरोप लगाया गया है कि कांग्रेस मोदी सरकार को बदनाम करने की साजिश कर रही है.
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केंद्र सरकार ने ट्विटर से ट्वीट्स से Manipulated Media का टैग हटाने को कहा था
हालांकि कांग्रेस ने कहा कि दस्तावेज फर्जी है. याद करें कि पिछले दिनों ट्विटर ने भाजपा नेताओं के टूलकिट से संबंधित ट्वीट्स को तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया करार दिया गया गया था, यानी Manipulated Media माना था, जिसके बाद केंद्र सरकार ने ट्विटर से उन ट्वीट्स से Manipulated Media का टैग हटाने को कहा था. सूत्रों के अनुसार यह मुद्दा पैनल की समग्र चर्चा के लिए सामयिक और प्रासंगिक है. पैनल के सदस्य सही स्पष्टीकरण चाहते हैं. समिति की रिपोर्ट के मानें तो अन्य मुद्दों पर भी व्यापक चर्चा हो सकती है.
अगर कोरम होता है तो बैठक भी आयोजित की जा सकती है. खबर है कि बैठक का कार्यक्रम और एजेंडा लोकसभा की वेबसाइट पर अपलोड कर दिया गया है. जान लें कि मार्च में कोरोना की दूसरी लहर की शुरुआत के बाद से यह पहली बार है जब पैनल की बैठक होगी. पैनल की आखिरी बैठक 16 मार्च को हुई थी.
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ट्विटर ने संबित पात्रा के पोस्ट को बताया था मैनिपुलेटेड मीडिया
ट्विटर ने कांग्रेस के कथित टूलकिट को लेकर भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा,राज्यसभा सांसद विनय सहस्रबुद्धे और पार्टी की राष्ट्रीय सोशल मीडिया प्रभारी प्रीति गांधी सहित भाजपा के अन्य वरिष्ठ नेताओं द्वारा 18 मई किये गये पोस्ट को मैनिपुलेटेड मीडिया करार दिया था. भाजपा का आरोप था कि टूलकिट का उद्देश्य भारत सरकार द्वारा कोविड-19 की दूसरी लहर और सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट से निपटने के लिए एक पक्षपाती आख्यान बनाना था. भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा और केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी, रविशंकर प्रसाद, हरदीप पुरी, अनुराग ठाकुर, पीयूष गोयल सहित कई शीर्ष नेताओं ने पात्रा के ट्वीट को आगे बढ़ाया था.
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कांग्रेस ने टूलकिट बनाकर कोरोना के नये स्वरूप को मोदी स्वरूप बताया
भाचपा का आरोप था कि कांग्रेस ने एक टूलकिट बनाकर कोरोना के नये स्वरूप को भारतीय स्वरूप या मोदी स्वरूप बताया और देश व प्रधानमंत्री मोदी की छवि खराब करने का प्रयास किया. हालांकि, कांग्रेस ने आरोपों को खारिज करते हुए दावा किया था कि भाजपा उसे बदनाम करने के लिए फर्जी ‘टूलकिट’ का सहारा ले रही है. कांग्रेस ने भाजपा के कई वरिष्ठ नेताओं के खिलाफ पुलिस में ‘जालसाजी’ का मामला भी दर्ज कराया. कांग्रेस ने कथित ‘कोविड टूलकिट मामले में 11 केंद्रीय मंत्रियों के ट्वीट का हवाला देते हुए माइक्रो-ब्लॉगिंग वेबसाइट ट्विटर से आग्रह किया कि इन नेताओं के खिलाफ कार्रवाई की जाये और उनके ट्वीट को भी मैनिपुलेटेड मीडिया’ करार दिया जाये.
इसके बाद संबित पात्रा के ट्वीट को मैनिपुलेटेड मीडिया बताने के मामले में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने ट्विटर इंडिया को नोटिस जारी कर सबूत पेश करने को कहा था. जिस पर ट्विटर ने कहा कि वह जानकारी देने के लिए बाध्य नहीं है. ट्विटर से जवाब मिलने के बाद दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ट्विटर इंडिया के लाडो सराय और गुरुग्राम ऑफिस पर रेड करने पहुंची थी.