सरकार की स्थिति निराशाजनक, जल्द प्रशासन से करेंगे वार्ता : मनीष जायसवाल
Hazaribagh : हजारीबाग की विश्वविख्यात रामनवमी के पारंपारिक जुलूस को लेकर हजारीबाग में धारा-144 लगाने, डीजे पर पूर्ण पाबंदी और मंगला जुलूस निकालने के दौरान राम भक्तों पर की गई प्राथमिकी को हटाने की मांग पर अड़े अनशनकारियों में एक की हालत बिगड़ गई है. बड़ा अखाड़ा के सामने चार लोग अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल पर पिछले चार दिनों से बैठे हुए हैं. भूख हड़ताल पर बैठे शुगर के मरीज अजय कुमार सिंह की स्थिति अचानक बिगड़ गई. उसके बाद हजारीबाग के सदर विधायक मनीष जायसवाल के प्रयास से स्वास्थ्य टीम धरना स्थल पर पहुंची और अस्वस्थ हुए अनशनकारी की जांच की. डॉक्टर ने उन्हें अस्पताल में भर्ती कर इलाज कराने की सलाह दी. लेकिन चिकित्साकर्मियों की बातों को नजरअंदाज कर अपनी मांगों को मनाने पर चारों अनशनकारी अडिग रहे. अनशनकारी अजय कुमार सिंह को विधायक करीब एक घंटे तक मनाते रहे, लेकिन वे अपनी मांगों को लेकर अड़े रहे. अजय सिंह ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि हम भगवान राम को अपना आदर्श मानने वाले लोग हैं और अपने आदर्श के जन्मोत्सव में किसी प्रकार की बाधा नहीं देखना चाहते हैं. अजय कुमार सिंह के साथ धरने पर बैठे अन्य अनशनकारियों इंजीनियर अमन कुमार और बप्पी करण ने भी अस्पताल जाकर उन्हें इलाज कराने का आग्रह किया, लेकिन वे अपनी बातों को लेकर अडिग रहे. अनशनकारियों ने कहा कि जान दे देंगे, लेकिन रामनवमी का उल्लास कम नहीं होने देंगे. मांगें पूरी होने तक बेमियादी अनशन जारी रखेंगे.
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प्रशासन को अपनी स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए : विधायक
भाजपा विधायक मनीष जायसवाल ने कहा कि सरकार हजारीबाग की इंटरनेशनल रामनवमी को लेकर असंवेदनशील है. विधानसभा में उठाए गए सवालों पर जवाब नहीं दिया गया. जिला प्रशासन भी राज्य सरकार के नक्शे कदम पर चल रही है. विधायक मनीष जायसवाल ने कहा कि जिला प्रशासन का जो वक्तव्य इस मामले में आ रहा है, वह अलग-अलग प्रकार का आ रहा है. पुलिस का कुछ और कहना है एवं प्रशासनिक स्तर के लोग कुछ अलग कहते हैं. ऐसे में हजारीबाग का माहौल खराब हो रहा है और प्रशासन को अपनी स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि अभी तो महज कुछ लोग धरने पर बैठे हुए हैं, अगर स्थिति स्पष्ट नहीं हुई तो बहुत सारे लोग इस मुहिम से जुड़ कर इस लड़ाई को आगे बढ़ाने को तैयार हैं.
‘सिर्फ डीजे पर प्रतिबंध लगाना उचित नहीं’
विधायक मनीष जायसवाल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि ध्वनि प्रदूषण को लेकर निर्धारित समय तक ही बजाना है. फिर सिर्फ डीजे पर प्रतिबंध लगाना उचित नहीं है, ध्वनि तो ताशा, बैंड से भी होता है. अगर सुप्रीम कोर्ट के निर्देश को माना जाए, तो फिर ध्वनि फैलाने वाले सभी प्रकार के चीजों पर पाबंदी लगानी चाहिए. लेकिन अगर सिर्फ डीजे को प्रतिबंधित किया जाता है, तो हजारीबाग की पारंपरिक रामनवमी के वैभव को कम करने की कोशिश की जा रही है. ख्याति प्राप्त रामनवमी की पहचान को कुंद करने की साजिश चल रही है. हजारीबाग के हर सनातन प्रेमी जो जहां हैं वहां से अपने सक्षमता के अनुरूप इस बात का पुरजोर विरोध कर रहे हैं. विधायक मनीष जायसवाल ने कहा कि जल्द हुए प्रशासन से इस मामले को लेकर वार्ता करने वाले हैं, ताकि जिला प्रशासन की मंशा स्पष्ट हो सके.
रामनवमी महासमिति के अध्यक्ष ने भी जताई चिंता
अनशनकारियों को मनाने विधायक मनीष जायसवाल के साथ पहुंचे रामनवमी महासमिति के अध्यक्ष कुणाल कुमार ने भी अनशनकारियों की स्थिति पर चिंता जताते हुए जिला प्रशासन से जल्द स्थिति स्पष्ट करने की मांग की, ताकि सौहार्दपूर्ण वातावरण में दूसरा मंगला जुलूस और रामनवमी का पारंपरिक जुलूस संपन्न कराया जा सके.
मौके पर विशेष रूप से समाजसेवी श्रद्धानंद सिंह, बड़ा अखाड़ा के महंत विजयानंद दास, विधायक प्रतिनिधि विशाल वाल्मिकी, भाजपा नेता टोनी जैन, रामनवमी संरक्षण समिति के अध्यक्ष प्रशांत प्रधान, निशांत प्रधान, अटल सांस्कृतिक मंच के दीपक नाथ सहाय, भाजपा नेत्री प्रियमवदा, अखौरी ब्रजेश सहाय, अधिवक्ता इंद्र कुमार पंडित, सन्नी सौरभ, कुमार गौरव, शंशाक शेखर, शैलेश चंद्रवंशी, मेहुल खंडेलवाल, सदर विधायक मीडिया प्रतिनिधि रंजन चौधरी सहित कई लोग मौजूद थे.
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