LagatarDesk : देश के सबसे अमीर इंसान और जाने-माने उद्योगपति मुकेश अंबानी ने इकोनॉमिक फोरम में एक बयान दिया है. इस फोरम में अंबानी ने कहा कि यह कल्पना करना कठिन है कि यदि 4G नेटवर्क नहीं होता तो भारत का क्या होता. उन्होंने इकोनॉमिक फोरम को संबोधित करते हुए कहा कि दुनिया के कई देशों के बीच में डिजिटल डिफ्रेंस को कम करना काफी जरूरी है.
लोगों की बेसिक नीड में 4G नेटवर्क भी शामिल
आज के इस दौर में संपर्क (कनेक्टिविटी) और संचार (कम्यूनिकेशन) अब हर व्यक्ति का मौलिक अधिकार बन गया है. अब 4G नेटवर्क खाना, कपड़ा और मकान की तरह लोगों की बुनियादी जरूरत बन गयी हैं. यह दुनिया की अर्थव्यवस्था को पटरी में लाने के लिए मददगार साबित हो सकती है.
कई साल पहले पीएम मोदी ने डिजिटल इंडिया किया था आह्वान
अंबानी ने संबोधन में कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी ने कुछ साल पहले ‘डिजिटल इंडिया’ का आह्वान किया था. डिजिटल इंडिया के कारण ही भारत इस महामारी में उत्पन्न स्थिति से सफलतापूर्वक निपटा है. डिजिटल सेवा कंपनी जियो ने 2018 में देश भर में 4G नेटवर्क शुरू कर दिया था.
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कोरोना काल में डिजिटल नेटवर्क ने कई समस्या का किया समाधान
अंबानी ने अपने बयान में कहा कि डिजिटल नेटवर्क के कारण ही दुनिया के सबसे बड़े टीकाकरण कार्यक्रम को शुरू करने में मदद मिली. बच्चों ने घर से पढ़ाई की और लोगों को वर्क फ्रॉम होम काम करने की सुविधा मिली.
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