Ranchi : ‘टिकाऊ कृषि एवं सम्बद्ध विज्ञान के लिए वैश्विक शोध पहल’ विषय पर बिरसा कृषि विश्वविद्यालय में अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का आयोजन किया गया. ऑफलाइन मोड का मंगलवार को समापन हो गया. मेरठ की आस्था फाउंडेशन ने कृषि, पशु चिकित्सा, वानिकी, मत्स्य पालन, पर्यावरण एवं जैव विविधता आदि विषयों पर 11 सत्र आयोजित किया था.
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वैक्सीनेशन की जरूरत बताई गई
सम्मेलन के मुख्य आयोजन सचिव डॉ रवीन्द्र कुमार ने बताया कि पशुओं की की देसी नस्लों के सुधार एवं संवर्धन, रोगों की नवीनतम जांच तकनीकों के प्रयोग तथा अफ्रीकन स्वाइन फीवर एवं लंपी स्किन रोग के नियंत्रण हेतु वैक्सीन विकसित करने पर जोर दिया गया. बकरी के पीपीआर रोग, स्वाइन फीवर तथा पशुधन के फूट एण्ड माउथ डिजीज की रोकथाम के लिए मास वैक्सीनेशन की जरूरत बताई गयी.
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ऑफलाइन और ऑनलाइन मोड विशेषज्ञों ने लिया हिस्सा
सम्मेलन में गुजरात, उत्तर प्रदेश, उड़ीसा, पंजाब, कश्मीर, झारखंड, बिहार, पश्चिम बंगाल, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान आदि राज्यों के लगभग डेढ़ सौ वैज्ञानिकों ने ऑफलाइन मोड में जबकि करीब एक हजार विशेषज्ञों ने ऑनलाइन मोड में भाग लिया. ऑनलाइन मोड में सम्मेलन बुधवार को भी जारी रहेगा.