विधि-विधान के साथ होगी सरहुल पूजा
पिछले साल की तरह इस साल भी कोरोना महामारी लगातार बढ़ रही है. जिसे देखते हुए आदिवासी सरना धर्मावलंबियों का प्रकृति पर्व सरहुल, बाहा, खद्दी पर्व को साधारण तरीके से अपने-अपने गांव और सरना स्थल पर पारंपरिक विधि-विधान से पाहन की अगुवायी में संपन्न कराया जाएगा.सरहुल पर्व पर सरना स्थलों पर होने वाले तीन दिवसीय पूजा अनुष्ठान कार्यक्रम में इन बातों के लिए मांगी अनुमति
- 14 अप्रैल को चैत्र शुक्ल पक्ष द्वितीय- उपवास,पानी घड़ा रखाई, केकड़ा, मछली पकड़ने के लिए अनुमति दी जाये.
- 15 अप्रैल को चैत्र शुक्ल पक्ष तृतीय-अपने-अपने सरना स्थल पर पूजा-अर्चना कर पाहन सहित 10 अगुआगण को केंद्रीय सरना स्थल पर आने की अनुमति दी जाये.
- 16 अप्रैल को चैत्र शुक्ल पक्ष चतुर्थी-फूलखोंसी, चेड़ी पूजा और अपने-अपने गांव व मोहल्ले में पाहन की अगुवाई में फूलखोंसी संपन्न कराने की अनुमति मांगी.
- केंद्रीय सरना स्थल की फूल,माला और विद्युत साज-सज्जा व तोरण द्वार पर पूर्ण रूप से सुविधा के साथ मुहैया कराने की मांग की.
प्रेसवार्ता में इन संगठनों की बनी सहमति
अखिल भारतीय आदिवासी विकास परिषद रांची, युवा सरना समिति सिरम टोली, सरना धर्म प्रार्थना सभा भारत, आदिवासी सरना समिति जगन्नाथपुर बड़का गढ़, आदिवासी सरना समिति सीठियो, महादेव टोली सरना समिति चुटिया, नवयुवक सरना समिति कारीनाथ टोली, कडरू सरना समिति,समाजिक संगठन आदिवासी लोहरा समाज केंद्रीय समिति झारखंड, जेठ जतरा समिति करम टोली रांची, आदिवासी छात्र मोर्चा, हिनू सरना समिति, लाल सिरम टोली सरना समिति, चुटिया सरना समिति, लोवाडीह सरना समिति बैठक और प्रेसवार्ता में शामिल हुए और अन बातों पर आपत्ति जतायी. https://english.lagatar.in/mla-irfans-warning-to-bjp-mp-stay-in-the-ground-here-is-our-secret-says-nishikant-will-inaugurate-your-chief-minister-humsafar-express-by-air/46613/https://english.lagatar.in/in-view-of-increasing-infection-ranchi-police-runs-special-drive-ssp-also-took-to-the-streets/46602/
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