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फर्जी लोन ऐप से साइबर ठगी, रांची की महिला ने दिखाया साहस, शिकायत की

Ranchi :  राजधानी रांची में साइबर अपराध के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं. अपराधी अब ठगी के नए-नए तरीके अपनाकर लोगों को निशाना बना रहे हैं. ताजा मामला फर्जी लोन ऐप के जरिये ठगी का है, जिसमें साइबर अपराधियों ने पहले एक महिला का डाटा चुराया और फिर उसका आपत्तिजनक तरीके से इस्तेमाल कर महिला को मानसिक रूप से प्रताड़ित करने की कोशिश की. लेकिन साइबर अपराधियों की ये चाल कामयाब नहीं हो सकी. महिला ने न सिर्फ ठगी को पहचान कर समझदारी दिखाई, बल्कि बिना डरे सीधे साइबर थाना पहुंचकर शिकायत दर्ज करायी. ऐसे दिया जा रहा है साइबर ठगी को अंजाम बता दें कि साइबर अपराधी ऑनलाइन लोन ऐप्स के नाम पर आम लोगों से ठगी कर रहे हैं. हाल के वर्षों में गूगल प्ले स्टोर जैसे प्लेटफॉर्म्स पर कई ऐसे फर्जी लोन ऐप्स सामने आए हैं जो कम ब्याज पर लोन देने का दावा करते हैं. लेकिन जैसे ही कोई यूजर इन ऐप्स को इंस्टॉल करता है, ये ऐप उन्हें ऑनलाइन केवाईसी करने के लिए कहते हैं. इस दौरान ऐप यूजर के निजी डेटा जैसे फोटो, आधार और मोबाइल कॉन्टैक्ट्स को एक्सेस करने की अनुमति मांगते हैं. इसके बाद ये ऐप्स एक छोटी राशि लोन के रूप में खाते में भेजते हैं और फिर असामान्य ब्याज दर और कम समयसीमा के तहत पैसे लौटाने का दबाव बनाते हैं. जब यूजर भुगतान नहीं करता है तो उनकी तस्वीरों को फेस स्वैप तकनीक से आपत्तिजनक रूप में बदल कर उसके परिचितों को  भेजने की धमकी दी जाती है. रांची की महिला ने डरने के बजाय दिखाया हौसला इस तरह का मामला रांची से सामने आया है. एक महिला ने एक फर्जी ऐप फिन क्रेड डाउनलोड किया. इसके बाद ऐप ने फोटो, कॉन्टैक्ट्स और अन्य डेटा को एक्सेस करने की अनुमति मांगी. लोन के लालच में महिला ने अनुमति दे दीय महिला ने इस ऐप के जरिये 10,000 का लोन लिया. लेकिन लेकिन खाते में सिर्फ 6,200 की राशि आयी. कुछ ही दिनों बाद ऐप की ओर से बार-बार फोन आने लगे और तय समय से पहले ही पैसे लौटाने का दबाव बनाया जाने लगा. महिला से एक निजी खाते में भुगतान की मांग की गयी, जिसे उन्होंने ठुकरा दिया और ऐप के जरिए भुगतान करने की बात कही. इसके बाद अपराधियों ने उनकी फोटो को फेस स्वैप तकनीक से मॉर्फ कर आपत्तिजनक रूप में परिवर्तित कर उनके रिश्तेदारों और जान-पहचान वालों को भेजने की धमकी दी. लेकिन महिला शर्मिंदगी और बदनामी के डर से चुप नहीं बैठीं. उन्होंने हिम्मत दिखायी और साइबर थाना में जाकर शिकायत दर्ज करायी.
कैसे करें साइबर ठगी से बचाव  1. सिर्फ आधिकारिक ऐप स्टोर (Google Play Store, Apple App Store) से ही ऐप डाउनलोड करें. 2. एपीके फाइल्स या अनजान स्रोतों से कोई ऐप इंस्टॉल न करें. 3. ऐप इंस्टॉल करते समय ध्यान दें कि क्या अनुमतियां मांगी जा रही है. 4. कॉन्टैक्ट लिस्ट, गैलरी, कैमरा, माइक्रोफोन जैसे एक्सेस को सोच-समझकर अनुमति दें. 5. ऐप डाउनलोड करने से पहले उसके यूजर रिव्यू और रेटिंग जरूर पढ़ें. 6. किसी ऐप के माध्यम से आये संदिग्ध भुगतान अनुरोध को नजरअंदाज करें और सीधे ऐप के आधिकारिक कस्टमर सपोर्ट से संपर्क करें. 7. ऐप को नियमित रूप से अपडेट करते रहें, ताकि नई सुरक्षा सुविधाएं जुड़ती रहें. 8. सोशल मीडिया पर अपनी निजी जानकारी साझा करने से बचें. गोपनीयता सेटिंग्स को मजबूत बनाएं और अनजान लोगों से फ्रेंड रिक्वेस्ट स्वीकार न करें.
 
साइबर ठगी का शिकार होने पर क्या करें? साइबर क्राइम हेल्पलाइन नंबर 1930 पर तुरंत कॉल करें या https://cybercrime.gov.in

पोर्टल पर रिपोर्ट करें. लोकल पुलिस स्टेशन में भी शिकायत दर्ज करवाएं. घटना से जुड़े सारे सबूत स्क्रीनशॉट, कॉल रिकॉर्डिंग, मैसेज, ईमेल आदि को सुरक्षित रखें. अगर बैंक से जुड़ी ठगी हुई है, तो तुरंत अपने बैंक को सूचित करें और खाते को ब्लॉक करने की मांग करें. अपने सभी ऑनलाइन खातों के पासवर्ड तुरंत बदलें और दो-स्तरीय सुरक्षा (2FA) का उपयोग करें.
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