Bokaro: झारखंड राज्य प्रदूषण बोर्ड की जनसुनवाई और इलेक्ट्रो स्टील वेदांता कंपनी के विस्तारीकरण के मामले में इलेक्ट्रो स्टील प्रबंधन और चंदनकियारी विधायक सह पूर्व मंत्री अमर बाउरी आमने-सामने आ गये हैं. एक ओर वेदांता कंपनी झारखंड राज्य प्रदूषण बोर्ड के तहत हो रही जनसुनवाई में स्थानीय लोगों की समस्याएं सुनने के दावे कर रही है. तो वहीं दूसरी ओर स्थानीय विधायक अमर बावरी ने इसे फर्जी जनसुनवाई करार दे दिया है. विधायक का कहना है कि जो कंपनी खुद कटघरे में हो और प्लांट के चारदीवारी के अंदर सुरक्षाबलों के बीच जन सुनवाई कर रही है वो जनता की क्या सुनेगी. उन्होंने कहा कि इस विषय पर उन्होंने मुख्य सचिव को पत्र भी लिखा है. बता दें कि इस जनसुनवाई में स्थानीय जनप्रतिनिधियों को निमंत्रण नहीं देने की बात भी सामने आ रही थी.
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विस्तारीकरण को लेकर रैयतों से की बात
ग्रामीण और रैयतों की शिकायतों के बाद झारखंड सरकार के निर्देशों के तहत इलेक्ट्रोस्टील वेदांता कंपनी ने प्लांट के विस्तारीकरण को लेकर रैयतों से बात की. जनसुनवाई के दौरान स्थानीय रैयतों से जनसंवाद किया गया. लोगों की समस्याएं सुनी गयी. इस दौरान रांची से लेकर बोकारो तक के अधिकारी मौजूद रहे. इस जनसुनवाई में प्रदूषण बोर्ड के अधिकारी के साथ साथ जिले के अधिकारी भी मौजूद रहे. इस जनसुनवाई में स्थानीय लोगों के लिए कंपनी ने पास बनवाया था जहां रैयतों ने अपनी बातें रखी. लेकिन इस दौरान गेट के बाहर भी रैयतों का हंगामा देखने को मिला. हंगामा कर रहे युवाओं की मांग थी कि उनकी जमीन गयी है तो उन्हें नौकरी मिलनी चाहिए. युवाओं का कहना है कि प्लांट का विस्तारीकरण हो ये तो सभी चाहते हैं लेकिन स्थानीय और विस्थापितों को रोजगार मिले ये हमारी मांग है. इसके साथ ही प्रदूषण को लेकर भी रैयत चिंतित दिखे. जन सुनवाई के दौरान लोगों कहना था कि इसमें रोजगार के साथ ही नदी को प्रदूषण मुक्त और ग्रामीणों के स्वास्थ्य को लेकर अस्पताल के निर्माण की भी बात कही.
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मूल रैयतों को प्लांट के अंदर घुसने तक नहीं दिया -बाउरी
दूसरी ओर इस जनसुनवाई को विधायक अमर बाउरी ने फर्जी करार दे दिया. उन्होंने कहा कि इसमें मूल रैयत को प्लांट के अंदर घुसने तक नहीं दिया गया. फर्जी रैयतों को बैठाकर जनसुनवाई की गयी. उन्होंने कहा कि जो कंपनी खुद ही आरोपी है वो क्या सुनवाई करेगी. उन्होंने कंपनी पर आरोप लगाते हुए कहा कि कंपनी चाहती और जिले के अधिकारी चाहते तो यह जनसुनवाई प्लांट के बाहर भी हो सकती थी. लेकिन प्लांट के अंदर चारदीवारी में सिक्योरिटी गार्ड के तहत और पुलिस बल के तहत जो जन सुनवाई की गयी यह एक आंखों का दिखावा मात्र है. जिनकी जमीन गयी है उनकी नहीं सुनी गयी बल्कि वैसे लोगों को बिठा कर इस जनसुनवाई के कोरम को पूरा किया गया जो मूल रूप से रैयत है ही नहीं.
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मुख्य सचिव को लिखा है पत्र
विधायक अमर बाउरी ने कहा कि इसके लिए मुख्य सचिव को उन्होंने पत्राचार भी किया है. उन्होंने कहा कि इस पत्राचार का मुख्य उद्देश्य ये है कि जो जनसुनवाई हो वह सही तरीके से हो सके. उन्होंने कहा कि जनसुनवाई प्लांट के अंदर नहीं बल्कि चारदीवारी के बाहर हो. जिससे लोगों की समस्याओं को सही तरीके से सुना जा सके. उन्होंने कहा कि कंपनी के विस्तारीकरण के वे विरोधी नहीं हैं, लेकिन असली रैयतों को उसका हक मिले ये होना चाहिए.
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विस्तारीकरण से 70% स्थानीय लोगों को मिलेगा रोजगार – कंपनी
कंपनी के अधिकारियों ने कहा कि विस्तारीकरण से लोगों को रोजगार मिलेगा. कंपनी की मानें तो जो भी समस्याएं हैं उसका निदान और निराकरण किया जाएगा. स्थानीय लोगों को 70% कंपनी में बहाल किया जाएगा यह कंपनी की पॉलिसी भी है. जनसुनवाई में मौजूद रहे जिले के अधिकारी और चास नगर निगम के अपर नगर आयुक्त शशि प्रकाश झा ने कहा कि जो समस्याएं आयी हैं उसके निराकरण के लिए कंपनी को कहा गया है, साथ ही इस जनसुनवाई को मुख्यालय रांची भी भेजा जाएगा.
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