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शर्मनाक: सदर अस्पताल की व्यवस्था के सामने पस्त हुई चमरी देवी, गाड़ी में ही बच्ची को दिया जन्म

Ranchi: सदर अस्पताल में प्रसव के लिए आयी चमरी देवी को उस वक्त सिस्टम के सामने घुटने टेक देने पड़े जब अस्पताल के दहलीज पर ही उसने गाड़ी में बच्ची को जन्म दिया. महिला का पति मंगल मुंडा अस्पताल की दहलीज पर नर्स से जल्दी भर्ती करने की गुहार लगाता रहा, लेकिन सिस्टम के आगे उसकी एक न चल सकी. अस्पताल के मेन गेट पर पहुंचने के बाद उसे कागजी प्रक्रिया में उलझा दिया गया. पहले रजिस्ट्रेशन कराने की बात कही गई. इसके बाद भर्ती करने की दलील दी जा रही थी. कागजी प्रक्रिया में देर हो रहा था और इधर चमरी प्रसव की वेदना से कराह रही थी.

खूंटी जिले के अड़की की रहने वाली है चमरी देवी

तीन साल पहले मंगल मुंडा और चमरी देवी का विवाह हुआ था. दंपत्ति खूंटी जिले के अड़की थाना क्षेत्र के तमाड़ टेटेबान्दू का रहने वाला है. आज चमरी को प्रसव पीड़ा हुआ. जिसके बाद घर के लोग उसे अनुमंडल अस्पताल बुंडू लेकर गए. जहां से उसे सदर अस्पताल रांची के लिए रेफर कर दिया गया. अस्पताल पहुंचते-पहुंचते चमरी  की दर्द बढ़ने लगी. वक्त बीत रहा था लेकिन अस्पताल के नर्सों का रवैया ठीक नहीं था.

गाड़ी में बच्ची को जन्म देने के बाद पहुंची नर्स

महिला के पति मंगल मुंडा ने बताया कि सदर अस्पताल के गेट पर पहुंचने के बाद नर्सों से भर्ती करने के लिए आग्रह करता रहा लेकिन नर्सों ने एक भी बात नहीं सुनी. मुझे लेबर रूम से रजिस्ट्रेशन काउंटर तक दौड़ाया गया. इधर देर हो रही थी और आखिरकार मेरी पत्नी ने गाड़ी में ही बच्ची को जन्म दे दिया. बच्ची को जन्म देने के करीब 15 मिनट के बाद वहां नर्स पहुंची. मंगल ने बताया कि खुद से ढूंढ कर ट्रॉली लाया और ट्रॉली को ढकेल कर लेबर रूम तक ले गया. उन्होंने सरकार से मांग करते हुए कहा जैसा बर्ताव मेरे साथ किया गया है वैसा किसी और के साथ ना है.

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