LagatarDesk : बढ़ती महंगाई के बीच रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने मौद्रिक नीतियों की घोषणा की. भारतीय रिजर्व बैंक ने पॉलिसी दरों में कोई बदलाव नहीं किया है. यह लगातार 8वीं बार है जब आरबीआई ने ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है. शक्तिकांत दास ने रेपो रेट को 4 फीसदी पर बरकरार रखा है. वहीं रिवर्स रेपो रेट भी 3.35 फीसदी पर स्थायी है. बैंक रेट 4.25 फीसदी पर बरकरार है. वहीं, वित्त वर्ष 2021-23 के लिए जीडीपी (GDP) ग्रोथ रेट 9.5 फीसदी पर बरकरार रखा है.
CPI inflation is projected at 5.3% for the financial year 2022. CPI inflation for Q1 of FY 2022-23 is projected at 5.2%: RBI Governor Shaktikanta Das pic.twitter.com/XSvdx04urx
— ANI (@ANI) October 8, 2021
6 अक्टूबर से शुरू हुई थी एमपीसी की बैठक
आरबीआई की मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की तीन दिवसीय बैठक बुधवार यानी 6 अक्टूबर को शुरू हुई थी. यह बैठक हर दो महीने में होती है. इससे पहले मौद्रिक नीति समिति की बैठक अगस्त में हुई थी. पिछले बार भी आरबीआई ने ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया था.
अर्थव्यवस्था में आया है सुधार
शक्तिकांत दास ने कहा कि पिछली एमपीसी के मुकाबले अर्थव्यवस्था में सुधार आया है. क्रूड और कमोडिटी की कीमतों में बढ़ोतरी के कारण महंगाई बढ़ा है. दास ने कहा कि जुलाई-सितंबर के आंकड़े आर्थिक गतिविधि के संकेत हैं.संक्रमण की दर में कमी और टीकाकरण से निजी उपभोग को प्रोत्साहन मिल रहा है. मुख्य मुद्रास्फीति अब भी जटिल बनी हुई है.
FY 2022 में महंगाई दर का अनुमान घटाया
शक्तिकांत दास ने कहा कि केंद्रीय बैंक ने अपने FY22 CPI मुद्रास्फीति लक्ष्य को पहले के 5.7 फीसदी से घटाकर 5.3 फीसदी कर दिया है. इसमें जुलाई-सितंबर सीपीआई मुद्रास्फीति भी पहले के 5.9 की तुलना में 5.1 प्रतिशत थी. अक्टूबर-दिसंबर सीपीआई मुद्रास्फीति पहले के 5.3 प्रतिशत की तुलना में 4.5 प्रतिशत रहने का अनुमान है.
The projection for real GDP growth is retained at 9.5% for FY 2021-22. This consists of 7.9% in Q2, 6.8% in Q3 and 6.1% in Q4 of 2021-22. Real GDP growth for Q1 of FY 2022-23 is projected at 17.2%: RBI Governor pic.twitter.com/VkcXMcKc4T
— ANI (@ANI) October 8, 2021
जीडीपी ग्रोथ का अनुमान बरकरार
आरबीआई के गवर्नर ने कहा कि केंद्रीय बैंक चालू वित्त वर्ष में 9.5 फीसदी की जीडीपी ग्रोथ को लेकर सकारात्मक है. जुलाई-सितंबर तिमाही में जीडीपी ग्रोथ 7.9 फीसदी रहने का अनुमान है. FY23 की पहली तिमाही के लिए सेंट्रल बैंक की जीडीपी ग्रोथ रेट 17.1 प्रतिशत रहने का अनुमान है. इसी के साथ आरबीआई की एमपीसी की बैठक में दास ने IMPS की लिमिट 2 लाख रुपये से बढ़ाकर 5 लाख रुपये कर दिया है.
आम-जनता को सस्ती ईएमआई के लिए करना पड़ेगा लंबा इंतजार
रेपो रेट वह ब्याज दर है जिस पर आरबीआई बैंकों को लोन देता है. रेपो रेट कम होने का मतलब है कि ग्राहकों को बैंक से मिलने वाले कर्ज सस्ते हो जायेंगे. इस बार भी आम-जनता को कोई राहत नहीं मिली. आम-जनता को सस्ती ईएमआई के लिए इस बार भी लंबा इंतजार करना पड़ेगा.
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