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धनबाद में कोयले के अंधाधुंध उत्खनन से बढ़ा प्रदूषण, आउटसोर्सिंग कंपनियां नहीं कर रहीं नियमों का पालन

Dhanbad : कोयले का अंधाधुंध उत्खनन होने से धनबाद (Dhanbad) में प्रदूषण का अस्तर दिनपर दिन बढ़ता जा रहा है. इससे कोयलांचल में पर्यावरण को गंभीर खतरा है. बीसीसीसीएल और उसके अधीन कार्य कर रहीं आउटसोर्सिंग कंपनियां इसके लिए ज्यादा जिम्मेदार हैं. देश में ऊर्जा की जरूरत पूरी करने के लिए कोयला जरूरी है, लेकिन कोयला उत्खनन के लिए पर्यावरण को सुरक्षित रखने वाले सभी मापदंडों का पालन भी उतना ही जरूरी है. पर लक्ष्य हासिल करने के लिए बीसीसीएल व अपनी कमाई बढ़ाने के लिए आउटसोर्स कंपनियां नियमों को ताक पर रख उत्खनन कर रही हैं. यह स्थिति पर्यावरण के लिए खतरनाक है. कोयलांचल का पर्यावरण प्रदूषित होने के चलते यहां के लोग सांस व फेफड़ा समेत कई गंभीर बीमारियों के शिकार हो रहे हैं. लेकिन पर्यावरण को बचाने की फिक्र न तो सरकार को है , न ही जिला प्रसासन को.

स्वच्छ पर्यावरण के लिए हर मुमकिन लड़ाई लड़ूंगा : रणजीत सिंह

  [caption id="attachment_657815" align="aligncenter" width="300"]https://lagatar.in/wp-content/uploads/2023/06/ranjit-singh-1-300x169.jpeg"

alt="" width="300" height="169" /> रणजीत सिंह[/caption] ग्रामीण एकता मंच के अध्यक्ष पुटकी निवासी रणजीत सिंह उर्फ बबलू सिंह ने पेड़ों को बचाकर कोयलांचल वासियों को स्वछ पर्यावरण देने की ठानी है. इसके तहत वे संवैधानिक तरीके से अपनी लड़ाई लड़ रहे हैं. उन्होंने पर्यावरण को नुकसान पहुंचानेवालों के खिलाफ 2008 से लेकर अब तक कई झारखंड हाईकोर्ट के कई पीआईएल दर्ज कराई है. इसी का परिणाम रहा कि हाईकोर्ट ने मामले को संज्ञान में लिया और 2012 में बिना अनुमति के पेड़ों की कटाई पर रोक लगा दी. बबलू कहते हैं कि वह पर्यावरण की सुरक्षा के लिए हर मुमकिन लड़ाई लड़ेंगे. उन्होंने बताया कि हाईकोर्ट में दर्ज पीआईएल के कारण ही पुटकी के गोपालीचक स्थित 13 नंबर क्षेत्र में हजारों पेंड बच पाए हैं. इस दिशा में प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, डीजीएमएस ,जिला प्रसासन और बीसीसीएल को भी गम्भीर होने की जरूरत है. तभी शहर प्रदूषण मुक्त होगा.

बीसीसीएल की लापरवाही से जिले में तेजी से बढ़ा प्रदूषण : अनिल शर्मा

[caption id="attachment_657820" align="aligncenter" width="300"]https://lagatar.in/wp-content/uploads/2023/06/anil-sharma-300x196.jpeg"

alt="" width="300" height="196" /> अनिल शर्मा[/caption] ग्रामीण एकता मंच के सदस्य अनिल शर्मा ने कहा कि बीसीसीएल की लापरवाही के चलते धनबाद शहर समेत पूरे कोयलांच में प्रदूषण का स्तर बढ़ा है. बीसीसीएल नियमों को ताक पर रख आउटसोर्सिंग के माध्यम से कोयला उत्खनन करने में लगी है . कंपनी को जनता की तनिक भी चिंता नहीं है. इसलिए पर्यावरण की सुरक्षा के लिए अब आम लोगों को खुद आगे आना होगा.

सिर्फ रस्मअदायगी से नहीं होगी पर्यावरण की सुरक्षा : अजय पासवान

[caption id="attachment_657825" align="aligncenter" width="300"]https://lagatar.in/wp-content/uploads/2023/06/ajay-paswan-300x225.jpeg"

alt="" width="300" height="225" /> अजय पासवान[/caption] शहर के अजय पासवान ने कहा कि विश्व पर्यावरण दिवस पर पर्यावरण बचाने की कसमें खाने से पर्यावरण नहीं बचेगा. यह तो सिर्फ रस्मअदायगी है. पर्यावरण  की सुरक्षा के लिए साल के 365 दिन पेंड- पौधों की रक्षा और उनकी देखभाल करने की जरूरत है. तभी हमारा शहर प्रदूषण मुक्त होगा .

कोयले की ओपन माइनिंग से प्रदूषित हो रहा शहर : जोबा कुमारी

[caption id="attachment_657827" align="aligncenter" width="300"]https://lagatar.in/wp-content/uploads/2023/06/joba-kumari-300x172.jpeg"

alt="" width="300" height="172" /> जोबा कुमारी[/caption] जोबा कुमारी ने कहा कि बीसीसीएल हमारे भविष्य के साथ-साथ पर्यावरण से भी खिलवाड़ कर रही है. ओपन माइंस के नाम पर शहर को प्रदूषित किया जा रहा रहा है .अगर समय रहते इस पर ध्यान नहीं  दिया गया, तो आने वाले समय में पैदा होने वाले बच्चे विकलांगता का शिकार हो सकते हैं. यह भी पढ़ें : धनबाद">https://lagatar.in/dhanbad-many-important-works-of-development-done-in-nirsa-during-modis-regime-aparna/">धनबाद

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