Ranchi: स्मार्ट सिटी तक बिजली पहुंचाने का 90 फीसदी काम पूरा हो चुका है. 10 फीसदी बचा काम दिसंबर तक पूरा कर लिया जाएगा. स्मार्ट सिटी को बिजली उपलब्ध कराने के लिए दो पावर ग्रिड का इस्तेमाल किया जा रहा है. हटिया के अलावा बेड़ो ग्रिड से भी रांची स्मार्ट सिटी को बिजली मिलेगी. हाई टेंशन केबल लगाने का काम लगभग पूरा हो चुका है. 32.64 किमी तक हाई टेंशन (टावरयुक्त ओवरहेड) वायर लगाया गया है, जो हटिया ग्रिड तक पहुंचेगा. हटिया ग्रिड से दोनों लाइन समानान्तर स्मार्ट सिटी के मुख्य पावर GIS सब स्टेशन तक पहुंचेगा. उम्मीद जतायी जा रही है कि दिसंबर तक जीआईएस काम करना शुरू कर देगा.
220/33 KV GIS Sub Station लगभग कंप्लीट
रांची के हटिया और मांडर पावर ग्रिड से मिलनेवाले बिजली का संचरण रांची स्मार्ट सिटी के 220/33 KV GIS Sub Station में किया जाएगा. इस पावर सब स्टेशन का निर्माण लगभग पूरा हो चुका है, यह सब स्टेशन झारखंड ऊर्जा संचरण निगम लिमिटेड द्वारा निर्मित झारखंड का पहला GIS Sub Station है.
दरअसल अबतक एयर इंसुलेटेड स्वीच गेयर सब स्टेशन का निर्माण होता रहा है जिसकी प्रमाणिकता कम है. (GIS Sub Station) गैस इंसुलेटेड स्वीच गेयर पावर सब स्टेशन अत्याधुनिक तकनीक पर आधारित सब स्टेशन है, जो एयर इंसुलेटेड पावर स्टेशन की तुलना में एक चौथाई जमीन पर तैयार हो जाता है.
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73 किमी एलटी और 78 किमी एचटी केबल बिछाया जा रहा
220/33 KV GIS Sub Station से रांची स्मार्ट सिटी में पावर सप्लाई के लिए एबीडी क्षेत्र में कुल चार अन्य पावर सब स्टेशन बन रहे हैं. 130 करोड़ रुपये के लागत से चार पावर सब स्टेशन और एबीडी क्षेत्र के अंदर विद्युत आधारभूत संरचना के निर्माण का कार्य अंतिम चरण में है.
पूरे क्षेत्र में 73 किमी एलटी केबल और 78 किमी एचटी केबल अंडरग्राउंड यूटिलिटी डक्ट में बिछाया जा रहा है. स्मार्ट सिटी में 1400 विद्युत पोल लगाए जा रहे हैं. ये सभी पोल स्काडा से जुड़ेंगे और इनमें सेंसर लगे रहेंगे, जिससे ऑटोमेटिकली रौशनी कम होने पर लाइट जलने लगेगी और दिन के उजाले में लाइट बूझ जाएंगे.
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