Ranchi: झारखंड सरकार द्वारा आदिवासी-सरना धर्मकोड का विधानसभा से प्रस्ताव पास किए एक साल का समय पूरा होने को है. मगर केंद्र सरकार अब तक इसको लेकर कोई पहल नहीं की है. इससे आदिवासी संगठनों में नाराजगी बढ़ती जा रही है. इस मुद्दे को लेकर हरमू देशवली में राष्ट्रीय आदिवासी समाज सरना धर्म रक्षा अभियान के बैनर तले आदिवासी संगठनों की बैठक हुई. बैठक में तय किया गया कि अक्टूबर में सरना धर्म कोड को लेकर राज्यपाल, केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा और केंद्र सरकार से सरोकार रखने वाले मंत्री, सांसद, दिल्ली के मुख्यमंत्री, विपक्ष के नेता को ज्ञापन सौंपा जायेगा.
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12 नवंबर को सरना धर्म अधिवेशन
11 नवंबर को नई दिल्ली में मंडी हाउस से जंतर मंतर तक सरना धर्म कोड की मांग को लेकर संसद मार्च किया जायेगा. साथ ही जंतर मंतर में विराट धरना आयोजित होगा. वहीं 12 नवंबर 2022 को गांधी पीस फाउंडेशन सभागार, नई दिल्ली में राष्ट्रीय सरना धर्म अधिवेशन होगा. वहीं 26 फरवरी को रांची में विशाल सरना धर्म कोड महारैली होगी. बैठक की अध्यक्षता धर्म गुरू बंधन तिग्गा ने किया. बैठक् में चंपा कुजूर, रवि तिग्गा, डॉक्टर करमा उरांव, नारायण उरांव, बलकू उरांव, शिवा कच्छप, बिरसा कंडीर, अमर उरांव , कमले उरांव, रेणु तिर्की, सुरेश उरांव, संगम उरांव, सुस्मिता पूर्ति, लालू उरांव आदि उपस्थित थे.
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