New Delhi : नये संसद भवन का उद्घाटन 28 मई को प्रधानमंत्री मोदी करेंगे. पीएम द्वारा उद्घाटन किया जाना विपक्ष को रास नहीं आ रहा है. विपक्ष का कहना है कि संसद भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से कराया जाना चाहिए. खबर आ रही है कि इस कारण 10 राजनीतिक दलों के नेताओं ने 28 मई को आयोजित समारोह का बहिष्कार करने का निर्णय लिया है. नेशनल खबरों के लिए यहां क्लिक करें
#WATCH | All opposition parties have decided to boycott the inauguration of the new Parliament building on 28th May and we will also do the same: Uddhav Thackeray faction leader Sanjay Raut pic.twitter.com/mvQNO0ib0h
— ANI (@ANI) May 24, 2023
#WATCH | We will boycott this (the inauguration of the new Parliament building): Bihar Deputy CM and RjD leader Tejashwi Yadav pic.twitter.com/jRCPzC2AXs
— ANI (@ANI) May 24, 2023
NCP will not attend the inaugural function of the New parliament building, party has decided to stand with other like-minded opposition parties on this issue: Spokesperson, Nationalist Congress Party (NCP) pic.twitter.com/VQRNlkwd4s
— ANI (@ANI) May 24, 2023
Only when the President of India summons the Parliament can it meet.
The President begins, annually, Parliamentary functioning by addressing the joint session.
The first business Parliament transacts each year is the “Motion of Thanks” to President’s Address. pic.twitter.com/LFI6pEzRQe— Sitaram Yechury (@SitaramYechury) May 23, 2023
Parliament is not just a new building; it is an establishment with old traditions, values, precedents and rules – it is the foundation of Indian democracy. PM Modi doesn’t get that
For him, Sunday’s inauguration of the new building is all about I, ME, MYSELF. So count us out
— Derek O’Brien | ডেরেক ও’ব্রায়েন (@derekobrienmp) May 23, 2023
नए संसद भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति जी को ही करना चाहिए, प्रधानमंत्री को नहीं!
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) May 21, 2023
संसद भवन के उद्घाटन समारोह में शामिल नहीं होंगे
कांग्रेस सहित कई विपक्षी दलों ने कहा है कि नये भवन का उद्घाटन पीएम मोदी नहीं, राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू करें. जान लें कि कांग्रेस के अलावा तृणमूल कांग्रेस, आम आदमी पार्टी, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा), माकपा, राजद, एनसीपी, शिवसेना(उद्धव ठाकरे), समाजवादी पार्टी, जदयू ने फैसला किया है कि वे नये संसद भवन के उद्घाटन समारोह में शामिल नहीं होंगे.
विपक्षी दलों के नेता संयुक्त बयान जारी करेंगे
सूत्रों के अनुसार समान विचारधारा वाले विपक्षी दलों के नेता इस मामले में संयुक्त बयान जारी करेंगे, जिसमें उद्घाटन कार्यक्रम के संयुक्त बहिष्कार की घोषणा की जायेगी. खबर है कि कार्यक्रम का औपचारिक निमंत्रण मिलने के बाद आज बुधवार को राजनीतिक दल इस पर अंतिम फैसला करेंगे. कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने 21 मई को अपने ट्वीट में लिखा था- नये संसद भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति जी को ही करना चाहिए, प्रधानमंत्री को नहीं!
संसद भारतीय लोकतंत्र की नींव वाली संस्था है
लोकसभा में टीएमसी के नेता सुदीप बंद्योपाध्याय ने कहा कि नये संसद भवन का उद्घाटन कार्यक्रम या तो स्वतंत्रता दिवस, या गणतंत्र दिवस, या गांधी जयंती पर आयोजित किया जाना चाहिए था, न कि वीडी सावरकर की जयंती पर. हमने 28 मई को नए संसद भवन के उद्घाटन कार्यक्रम का बहिष्कार करने का फैसला किया है. राज्यसभा में टीएमसी के नेता डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि संसद सिर्फ एक इमारत नहीं है, बल्कि पुरानी परंपराओं, मूल्यों, मिसालों और भारतीय लोकतंत्र की नींव वाली एक संस्था है.
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