NewDelhi : पिछले सात माह में रोहिणी(दिल्ली) के सेक्टर 3 स्थित आशा किरण होम में 27 बच्चों की मौत हुई है. सिर्फ जुलाई में 13 बच्चों की मौत हुई है. बता दें कि यह होम मंदबुद्धि बच्चों के लिए बनाया गया है. होम के कुछ दस्तावेजों से यह खुलासा हुआ है. आशा किरण में हो रही इन मौतों पर प्रशासन ने चुप्पी साध रखी है. सूत्रों के अनुसार मौत की वजह बच्चों की ठीक से देखभाल और पीने के पानी की अच्छी व्यवस्था ना होना है. यह दिल्ली सरकार द्वारा संचालित है.
Delhi minister Atishi has directed the Additional Chief Secretary Revenue to initiate a magisterial enquiry in the deaths of 14 inmates of the state-run Asha Kiran shelter home in Rohini since January this year and submit report within 48 hours. pic.twitter.com/PYEAwP7931
— Press Trust of India (@PTI_News) August 2, 2024
आतिशी ने कहा, दोषियों को बख्शा नहीं जायेगा
आशा किरण में मौत के मामले में दिल्ली की राजस्व मंत्री मंत्री आतिशी ने मजिस्ट्रेट जांच के आदेश जारी किये हैं. आशा किरण होम में इस साल लगातार बच्चों की मौतें हुई हैं. जनवरी में तीन, फरवरी में दो, मार्च में फिर तीन, अप्रैल में दो, मई में एक, जून में तीन और जुलाई में 13 मौत हुई हैं.
आतिशी ने शुक्रवार को संवाददाता सम्मेलन कहा कि जुलाई में आशा किरण आश्रय गृह में मरने वाले 14 लोगों में से कुछ गंभीर बीमारियों से पीड़ित थे. उन्होंने कहा कि अगर कोई लापरवाही पायी जाती है, तो दोषियों को बख्शा नहीं जायेगा.
उपराज्यपाल वीके सक्सेना जांच के निर्देश दिये
उपराज्यपाल वी के सक्सेना ने रोहिणी स्थित आशा किरण आश्रय गृह में रहने वालों की मौत सहित दिल्ली सरकार के सभी आश्रय गृहों की स्थिति की व्यापक जांच के निर्देश दिये तथा एक सप्ताह के भीतर रिपोर्ट मांगी. उपराज्यपाल ने आशा किरण आश्रय गृह में मृतकों के माता-पिता या अभिभावकों को पर्याप्त मुआवजा देने को कहा है.
राष्ट्रीय महिला आयोग आशा किरण में हुई मौतों पर संज्ञान लिया
आशा किरण होम में मंदबुद्धि बच्चों और बड़ों को रखा जाता है. होम का दावा है कि यहां इनकी अच्छे से देखरेख की जाती है. आरोप लग रहे हैं कि आशा किरण होम में मानसिक रूप से परेशान लोगों की देखरेख ठीक से नहीं की जाती. सुविधाओं का घोर अभाव है. राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा ने आशा किरण में हुई मौतों पर संज्ञान लिया है. उन्होंने बताया कि आयोग वहां पर फैक्ट फाइंडिंग टीम भेज रहा है. टीम मानसिक स्वास्थ्य रोगियों की मौत के लिए जिम्मेदार माने जाने वाले सभी अधिकारियों से मुलाकात करेगी.