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दिखी झारखंडी संस्कृति की झलक
शोभा यात्रा में शामिल लोग झारखंडी संस्कृति की झलक दिखाने में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ी. भाईचारगी का भी संदेश दिया. हातमा से दोपहर एक बजे सरहुल की शोभा यात्रा निकली. इससे पहले पूर्व सीएंम चंपाई सोरेन हातमा पहुंचे. वहां पूजा-अर्चना की। महिलाओं ने उनके पांव पखारे. पांव पखारने वाली महिलाओं को चंपाई सोरेन ने 501 रुपए दिए. जगलाल पाहन को जब घड़े के पानी से स्नान कराने की परंपरा में भी चंपाई सोरेन मौजूद रहे.alt="" width="600" height="400" />
रथ पर सवार होकर जगलाल पाहन अलबर्ट एक्का चौक पहुंचे
सभी परंपराओं को पूरा करने के बाद जगलाल पाहन रथ पर सवार होकर अलबर्ट एक्का चौक पहुंचे. वहां उनका भव्य तरीके से स्वागत किया गया. सभी खोड़हा नेतृत्वकर्ताओं को सरना अंगवस्त्र देकर स्वागत किया गया. इसके बाद राजधानी के विभिन्न सरना स्थलों से जुलूस निकलना शुरू हो गया. मांदर की थाप पर नृत्य-गीत गाते हुए सिरमटोली स्थित सरना स्थल पर पहुंचे. सभी खोड़हा द्वारा सरना स्थल का तीन बार परिक्रमा किया.alt="" width="600" height="400" />
सरना ड्रेस का दिखा जबरदस्त क्रेज
शोभायात्रा में खास बात यह रही कि इसमें सरना ड्रेस का जबरदस्त क्रेज दिखा. कुछ साल पहले तक सरहुल सरहुल महोत्सव के दौरान महिलाएं लाल पाड़ वाली सफेद साड़ी पहनकर झूमतीं नजर आतीं थी. अब प्रकृति से जुड़ी तरह तरह की प्रिंट वाली साड़ियों का भी क्रेज दिखा. विभिन्न सरना समितियों ने शोभा यात्रा में शामिल लोगों का स्वागत किया. रांची के विधायक सीपी सिंह, आजसू सुप्रीमो सुदेश महतो सहित अन्य नेताओं ने भी अलबर्ट एक्का चौक पर लोगों का स्वागत करने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी. इसे भी पढ़ें – वक्फ">https://lagatar.in/waqf-amendment-bill-will-be-presented-in-lok-sabha-on-april-2-approved-in-meeting-of-business-advisory-committee/">वक्फसंशोधन बिल दो अप्रैल को लोकसभा में होगा पेश,बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक में लगी मुहर
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