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बहरागोड़ा : चित्रेश्वर जाने वाले रास्ते में माइल स्टोन पर लिखा है बाघाकुली, श्रद्धालुओं को होती है परेशानी

Baharagoda (Himangshu Karan) : बहरागोड़ा प्रखंड में पश्चिम बंगाल सीमा से सटे बहुलिया पंचायत के चित्रेश्वर में है पौराणिक शिव मंदिर. यहां सालों भर विभिन्न राज्यों के श्रद्धालु पूजा के लिए आते हैं. परंतु विडंबना यह है कि बहरागोड़ा में कालियाडिंगा के पास राष्ट्रीय उच्च पथ संख्या 49 से चित्रेश्वर जाने वाली लगभग 13 किलोमीटर लंबी सड़क के किनारे सभी माइलस्टोन पर बाघाकुली लिखा है. चित्रेश्वर का जिक्र किसी भी माइलस्टोन पर नहीं है. इस कारण इस पौराणिक शिव नगरी में जाने वाले श्रद्धालुओं को परेशानियों का सामना करना पड़ता है. अनेक श्रद्धालु माइल स्टोन देखकर ही रास्ता भटक जाते हैं. इसे भी पढ़ें : जमशेदपुर">https://lagatar.in/jamshedpur-bjmo-delegation-met-ssp-regarding-increasing-crime-in-the-city/">जमशेदपुर

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माइलस्टोन पर चित्रेश्वर लिखना जरूरी है

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alt="" width="600" height="400" /> हाईवे 49 से चित्रेश्वर जाने वाली सड़क लगभग 13 किलोमीटर लंबी है. चित्रेश्वर जाने के लिए पश्चिम बंगाल के मदनशोल गांव से गुजरना पड़ता है. मदनशोल से चित्रेश्वर की दूरी लगभग एक किलोमीटर है. हाईवे से लेकर मदनशोल तक सड़क के किनारे लगे सभी माइलस्टोन पर बाघाकुली अंकित है. चित्रेश्वर के ग्रामीणों का कहना है कि माइलस्टोन पर चित्रेश्वर लिखना जरूरी है. ऐसा नहीं होने के कारण बाहर से आने वाले श्रद्धालु रास्ता भटक जाते हैं और परेशानियों में पड़ जाते हैं. मंदिर कमेटी की मांग है कि सावन महीना के पूर्व माइल स्टोन पर चित्रेश्वर लिखा जाए ताकि श्रद्धालुओं को परेशानी नहीं उठानी पड़े. इसे भी पढ़ें : आदित्यपुर">https://lagatar.in/adityapur-women-of-bengali-community-worshiped-mother-vipattarini-sought-boon/">आदित्यपुर

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जानलेवा हो सकते हैं प्रवेश द्वार निर्माण के लिए खोदे गए गड्ढे

कालियाड़िंगा में हाईवे 49 से चित्रेश्वर जाने वाली सड़क जिस स्थल से निकलती है यहां भी चित्रेश्वर नाम का कोई बोर्ड नहीं लगा है. उक्त स्थल पर प्रवेश द्वार निर्माण करवाने के लिए 4 माह पूर्व सड़क के दोनों और बड़े-बड़े गड्ढे खोदकर छोड़ दिए गए हैं. उक्त गड्ढे जानलेवा साबित हो सकते हैं. प्रवेश द्वार का निर्माण किस मद से कराया जाएगा इसकी जानकारी भी आसपास के लोगों को नहीं है. जल्द ही सावन माह शुरू होने वाला है और ऐसे में जब चित्रेश्वर धाम में श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ आएगा तब, उक्त गड्ढा किसी दुर्घटना का कारण बन सकता है. [wpse_comments_template]

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