इलेक्ट्रिकल पार्ट्स बाहर भेजा जा रहा था
मिली जानकारी के अनुसार 21 सितंबर को संयंत्र के स्टील गेट से निकलने वाले ट्रक को संदेह के आधार पर जांच के लिए रोका गया था. संदेह था कि टेंडर में हासिल स्क्रैप के अलावा ट्रक पर कई ऐसे इलेक्ट्रिकल पार्ट्स लोडकर बाहर लाये जा रहे हैं, जो स्क्रैप टेंडर के लॉट में नही हैं. जबकि इसे लोडिंग साइड से कई अधिकारियों के सामने लोड कर ट्रक से स्टील गेट तक लाया गया था. ऐसे में कई अधिकारियों की भूमिका भी संदिग्ध बतायी जाती है. इसे भी पढ़ें- पेट्रोल-डीजल">https://lagatar.in/swamy-slams-modi-government-over-rising-prices-of-petrol-and-diesel-saying-tragic-for-the-public-fatal-for-the-economy/">पेट्रोल-डीजलके बढ़ते दामों को लेकर स्वामी का मोदी सरकार पर हल्ला बोल, कहा- जनता के लिए त्रासद, अर्थव्यवस्था के लिए घातक बताया जाता है कि इसकी जांच सीआईएसएफ के दो इंस्पेक्टरों ने किया. इसका सत्यापन बीएसएल अधिकारियों ने किया. लगभग 15 दिनों बाद सीआईएसएफ की जांच कमेटी की रिपोर्ट पर मुहर लग गई. इसके बाद राष्टीय संपत्ति की चोरी का मुकदमा दर्ज किया गया. माराफारी इंस्पेक्टर उज्ज्वल कुमार साह ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है. इसे भी पढ़ें- घूस">https://lagatar.in/in-the-case-of-taking-bribe-the-ssp-has-given-line-to-circle-inspector-mohan-pandey/">घूस
लेने के मामले में SSP ने सर्किल इंस्पेक्टर मोहन पांडेय को किया लाइन हाजिर [wpse_comments_template]

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