Bokaro : बोकारो जनरल अस्पताल में डॉक्टर पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए परिजनों ने जमकर हंगामा किया. हंगामे को देखते हुए प्रबंधन को पुलिस बुलानी पड़ी. परिजनों ने बताया कि जब मरीज को अस्पताल में इलाज कराने के लिए लाया गया, तो चिकित्सकों ने बेड नही रहने का कारण बताकर इलाज करने से इनकार कर दिया. जिसके बाद मरीज को सदर अस्पताल में इलाज के लिए लाया गया, जहां इलाज की समुचित व्यवस्था नहीं होने के कारण उसे निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया. वहां के चिकित्सकों ने उसे पुनः बोकारो जेनरल अस्पताल भेज दिया, जहां उसकी मौत हो गई. उधर, अस्पताल प्रबंधन ने परिजनों के आरोप को बेबुनियाद बताया है. प्रबंधन के मुताबिक बेड खाली नहीं था.
अस्पताल में भर्ती लेने से किया गया था इनकार
बताया जाता है कि बसंतीमोड़ कूलिंग पाउंड नंबर दो निवासी आकाश कुमार अपने भाई विकास कुमार को सांप काटने से तबीयत खराब होने पर रविवार रात ढाई बजे बोकारो जेनरल अस्पताल ले गया. वहां चिकित्सकों ने बेड खाली नहीं होने का बहाना बताकर इलाज करने से इनकार कर दिया. सोमवार की अहले सुबह परिजन उसे सदर अस्पताल ले गए, जहां से उसे निजी अस्पताल में इलाज के लिए ले जाया गया. वहां से उसे पुनः बीजीएच रेफर कर दिया गया. इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई. परिजनों ने बताया कि यदि मरीज को समय रहते इलाज शुरू की गई होती, तो उसकी जान बचाई जा सकती थी. लेकिन चिकित्सकों ने इलाज में लापरवाही और भर्ती करने में देर कर दी, जिससे विकास की मौत हो गई.
आरोपी डॉक्टर के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने का आवेदन
मरीज की मौत के बाद परिजनों ने जमकर हंगामा किया. संबंधित थाने की पुलिस मौके पर पहुंची, जहां परिजनों को समझाने का प्रयास किया गया. परंतु परिजन आरोपी डॉक्टर के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने, मृतक के आश्रित को मुआवजा व नौकरी देने की मांग करने लगे. परिजनों ने शव के साथ हंगामा किया. सिटी डीएसपी कुलदीप कुमार ने बताया कि पुलिस को आवेदन मिला है. पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है. उन्होंने कहा कि परिजनों को वार्ता के बाद सरकारी सहायता देने का आश्वासन दिया गया है. किसी तरह मामले को शांत कराया गया.
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