Ganesh Kumar Manoharpur : ईरान में पिछले 27 मार्च को शिप में हुए हादसे में ड्यूटी पर तैनात पश्चिमी सिंहभूम जिले के मनोहरपुर निवासी युवक अहलाद नंदन महतो की मौत हो गई थी. वह शिप में मरीन इंजीनियर के पद पर कार्यरत था. उसका शव करीब सवा महीने बाद शनिवार को मनोहरपुर पहुंचा. अहलाद नंदन का शव पहले कोलकाता लाया गया, जहां शव को परिजनों को सौंपा गया. परिजन शव लेकर पैतृक गांव मनोहरपुर प्रखंड के तरतरा पहुंचे. मनोहरपुर बीडीओ शक्ति कुंज व सीओ प्रदीप कुमार की मौजूदगी में ताबूत को खोला गया. परिजनों ने शव की पहचान की. शव देख परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है. बीडीओ व सीओ ने कहा की इस दुख की घड़ी में प्रशासन पीड़ित परिवार के साथ है. सीओ ने परिजनों को सहयोग स्वरूप नकद राशि प्रदान की. इसके बाद शव का अंतिम संस्कार कोयल नदी तट पर कर दिया गया. बड़ी संख्या में पहुंचे स्थानीय लोगों ने आह्लाद नंदन महतो के अंतिम दर्शन किए. [caption id="attachment_1043955" align="aligncenter" width="272"]

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शव देख विलाप करते परजन [/caption]
अहलाद की जगह दूसरे युवक का पहुंच गया था शव मरीन इंजीनियर अहलाद महतो की 27 मार्च को ईरान स्थित चरक बंदरगाह शिप रासा आईएमओ में ड्यूटी के दौरान हादसे में मौत हो गई थी. इस हादसे में जौनपुर (यूपी) के युवक मरीन इंजीनियर शिवेन्द्र प्रताप सिंह की भी मौत हो गई थी. दोनों युवकों शव भारत लाने के लिए परिजनों को एक माह का इंतज़ार करना पड़ा. 28 अप्रैल को जब शव मनोहरपुर पहुंचा था तो उस वक्त ताबूत खोलने पर शिवेन्द्र प्रताप सिंह का शव निकला था. इसके बाद शिवेन्द्र प्रताप सिंह के शव को चक्रधरपुर रेलवे अस्पताल स्थित शीत गृह में रख दिया गया था, जहां शिवेन्द्र के परिजन जौनपुर से पहुंच कर शव ले गए थे. इसके बाद शनिवार को अहलाद का शव मनोहरपुर लाया गया. यह भी पढ़ें :
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