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चक्रधरपुर : कोटसोना गांव आज भी अंधेरे में, ग्रामीणों ने आंदोलन की दी चेतावनी

Chakradharpur (Shambhu Kumar) :  चक्रधरपुर प्रखंड की सुदूरवर्ती क्षेत्र होयोहातु पंचायत के कोटसोना गांव में बिजली आपूर्ति बहाल नहीं होने से ग्रामीणों का सब्र अब जवाब देने लगा है. गुरुवार को गांव के लोगों ने बैठक कर नाराजगी जताई और चेतावनी दी कि अगर जल्द समाधान नहीं हुआ तो वे बिजली विभाग के कार्यालय का घेराव करेंगे. अलग राज्य बने 25 साल हो गये, पर गांव अब भी अंधेरे में बैठक में ग्रामीणों ने कहा कि झारखंड अलग राज्य बने 25 साल हो गए, लेकिन कोटसोना गांव आज भी बिजली जैसी बुनियादी सुविधा से वंचित है. गांव पहाड़ी क्षेत्र में बसा है, जहां शाम होते ही अंधेरा छा जाता है और जंगली जानवरों का खतरा बढ़ जाता है. ग्रामीणों का कहना है कि अंधेरे के कारण बच्चों की पढ़ाई बुरी तरह प्रभावित हो रही है और मोबाइल चार्ज करने के लिए भी उन्हें दूर-दराज के गांव जाना पड़ता है. ढिबरी युग में जी रहे ग्रामीण ग्रामीणों ने कहा कि विभागीय लापरवाही के चलते आज भी वे ढिबरी युग में जीने को मजबूर हैं. अब तक कई बार बिजली विभाग को आवेदन देकर और पंचायत स्तर पर बैठकें कर समस्या से अवगत कराया गया, लेकिन हर बार सिर्फ आश्वासन मिला, समाधान नहीं. चरणबद्ध आंदोलन की चेतावनी गांव के बहादुर लोहार, श्याम सामड, रमेश हेंब्रम, सोंगा हेंब्रम, कानूराम लोहार सहित कई ग्रामीणों ने बैठक में यह तय किया कि यदि जल्द ही बिजली बहाल नहीं की गई, तो वे चरणबद्ध आंदोलन शुरू करेंगे और बिजली विभाग के कार्यालय का घेराव करेंगे. ग्रामीणों ने यह भी कहा कि किसी अप्रिय स्थिति के लिए जिला प्रशासन जिम्मेदार होगा. अब नहीं सहेंगे उपेक्षा बैठक में मौजूद महिला और पुरुष ग्रामीणों ने एक स्वर में कहा कि अब और उपेक्षा बर्दाश्त नहीं की जाएगी. वर्षों की प्रतीक्षा के बाद भी यदि प्रशासन और विभाग नींद में हैं, तो वे आंदोलन की राह पर चलने को मजबूर होंगे.

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