Chandrayaan-3 Mission:
Here are the images of Lunar far side area captured by the Lander Hazard Detection and Avoidance Camera (LHDAC). This camera that assists in locating a safe landing area -- without boulders or deep trenches -- during the descent is developed by ISRO… pic.twitter.com/rwWhrNFhHB">https://t.co/rwWhrNFhHB">pic.twitter.com/rwWhrNFhHB
— ISRO (@isro) August">https://twitter.com/isro/status/1693469304619188516?ref_src=twsrc%5Etfw">August
21, 2023
सॉफ्ट लैंडिंग 23 अगस्त शाम पांच बजकर 45 मिनट पर होने की उम्मीद
चंद्रयान-3 का प्रक्षेपण 14 जुलाई को किया गया था. इसका मकसद चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ की उपलब्धि हासिल करना है. इसरो ने रविवार को कहा कि रोवर के साथ लैंडर मॉड्यूल के 23 अगस्त को शाम तकरीबन छह बजकर चार मिनट पर चंद्रमा की सतह पर उतरने की संभावना है. इसे भी पढ़ें : शाह">https://lagatar.in/sibals-taunt-on-shahs-self-reliant-mp-statement-said-the-state-contributing-the-most-to-poverty/">शाहके ‘आत्मनिर्भर मप्र’ बयान पर सिब्बल का तंज, कहा- गरीबी में सबसे ज्यादा योगदान देने वाला राज्य
लैंडर विक्रम का दिमाग दिखायेगा करामात
लैंडर विक्रम अब अपने दिमाग का पूरा इस्तेमाल करेगा. वह अपने सेंसर और कैमरों की मदद से लैंडिंग की उचित जगह की तलाश करेगा. वह अपनी गति लगभग शून्य कर लेगा. फिर धीरे-धीरे चांद पर इसके चारों पाये कदम रखेंगे. कहा गया है कि 12 डिग्री के झुकाव के साथ लैंडर विक्रम चांद पर उतरेगा. इस क्रम में प्रज्ञान रोवर इससे बाहर निकलेगा. 14 दिन तक चांद की सतह पर प्रज्ञान रोवर का परीक्षण जारी रहेगा. इसे भी पढ़ें : महुआडाड़">https://lagatar.in/latehar-income-of-villagers-from-khukdi/">महुआडाड़में खुखड़ी की डिमांड ज्यादा, ग्रामीणों को हो रही अच्छी आमदनी [wpse_comments_template]
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