Chatra: विकास भवन परिसर के समीप आंगनबाड़ी सेविका-सहायिका संघ झारखंड सरकार के वादाखिलाफी के विरोध में शनिवार से हड़ताल पर हैं. वे अपनी मांगों को लेकर लंबे समय से प्रदर्शन कर रही थीं लेकिन सरकार के उदासीन रवैये से आक्रोशित होकर हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया. आंगनबाड़ी सेविकाओं की हड़ताल पर जाने से आंगनबाड़ी केंद्रों पर ताले लग गए हैं, जिससे बच्चों को पोषणयुक्त आहार नहीं मिल पा रहा है.
बता दें कि झारखंड में अभी करीब 38 हजार सेविका और सहायिका कार्यरत हैं. इन सभी के हड़ताल में चले जाने से ये सारे काम ठप पड़ गए हैं. संघ के चतरा जिला अध्यक्ष प्रतिमा सिंह ने बताया कि हम सभी आंगनबाड़ी कर्मियों के साथ झारखंड सरकार अन्याय कर रही है, और हम इस अन्याय के विरोध में तब तक लड़ेंगे जब तक हमें पूर्ण रूप से न्याय न मिले. हड़ताल में सभी केंद्रों की सेविका सहायिका के साथ चतरा जिला संघ की जिला सचिव कांता कुमारी, प्रखंड अध्यक्ष प्रीति आर्य, प्रखंड अध्यक्ष सिमरिया रश्मि कुमारी, प्रतापपुर प्रखंड अध्यक्ष सोनी कुमारी, टंडवा से रत्ना देवी, इटखोरी से पुष्पा कुमारी, हंटरगंज से मीणा देवी शामिल हैं.
आंगनबाड़ी सेविका-सहायिका की मांगें
मांगों में सेवा शर्त नियमावली की अधिसूचना संख्या -2238 एवं 2239 में आंशिक संसोधन हेतु पूर्व में समर्पित आवेदन पर अविलंब विचार करने, आंगनबाड़ी सेविका सहायिका का मानदेय/वेतनमान सहायक अध्यापक के समान हो एवं वार्षिक वृद्धि की जटिलता दूर हो, मानदेय का भुगतान ससमय हो, सेवानिवृत्ति के बाद सेविका को 10 लाख एवं सहायिका को 5 लाख का सेवनिवृत्ति लाभ भी मिले, कार्यानुभव के आधार पर सेविका सहायिका को महिला पर्यवेक्षिका में प्रोन्नति मिले, सर्वोच्च न्यायालय के आदेशानुसार सभी आंगनबाड़ी कर्मियों को भी महंगाई भत्ता एवं यात्रा भत्ता भुगतान की भी स्वीकृति दी जाये, विपरीत मौसम में विद्यालयों के समान अवकाश की व्यवस्था, विभागीय कार्य संपादन के लिए मोबाइल/टैब की व्यवस्था, आंगनबाड़ी केंद्रों का पोषाहार की राशि बाजार दर पर उपलब्ध कराई जाये.
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