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छत्तीसगढ़ के 25 वर्ष पूरे, पीएम मोदी ने नए विधानसभा भवन का किया उद्घाटन

  • मोदी ने कहा–यह 25 वर्षों की जन आकांक्षाओं का प्रतीक

Lagatar Desk :  छत्तीसगढ़ के 25वें स्थापना दिवस पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राज्य के नये विधानसभा भवन का उद्घाटन किया. यह भवन ग्रीन बिल्डिंग अवधारणा पर आधारित है, पूरी तरह सौर ऊर्जा से संचालित होती है और इसमें वर्षा जल संचयन प्रणाली भी स्थापित की गई है.

 

कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि यह दिन छत्तीसगढ़ की विकास यात्रा के लिए स्वर्णिम शुरुआत है. उन्होंने कहा कि  मेरे लिए यह व्यक्तिगत रूप से भी भावनात्मक क्षण है, क्योंकि मेरा इस भूमि से दशकों पुराना आत्मीय रिश्ता रहा है. एक कार्यकर्ता के रूप में मैंने यहां बहुत कुछ सीखा. मेरे जीवन को गढ़ने में यहां के लोगों का, यहां की भूमि का बहुत बड़ा आशीर्वाद रहा है. 

 

मोदी ने कहा कि यह सिर्फ एक भवन का उद्घाटन नहीं, बल्कि छत्तीसगढ़ की 25 वर्षों की जन आकांक्षाओं, संघर्ष और गौरव का उत्सव है. उन्होंने भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी को नमन करते हुए कहा कि अटल जी ने छत्तीसगढ़ राज्य का गठन कर इस भूमि की आत्मा को पहचान दी. आज जब विधानसभा के साथ-साथ उनकी प्रतिमा के साथ का भी अनावरण हुआ है, तो लगता है अटल जी का सपना साकार हो रहा है. 

 

 

मोदी ने कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा का इतिहास अपने आप में प्रेरणास्रोत है. 2000 में जब इस सुंदर राज्य की स्थापना हुआ तो पहली विधानसभा की बैठक राजकुमार कॉलेज रायपुर के जशपुर हॉल में हुई. वो समय सीमित संसाधनों का तो था लेकिन असीम सपनों का था. तब केवल एक भावना थी कि हम अपने भाग्य को और तेजी से उज्जवल बनाएंगे.

 

प्रधानमंत्री ने कहा कि यह धरती भगवान श्रीराम की ननिहाल है. श्रीराम के आदर्श सुशासन और जनकल्याण की प्रेरणा देते हैं. ‘राम से राष्ट्र’ का अर्थ है सबका साथ, सबका विकास, ऐसा भारत, जो गरीबी और असमानता से मुक्त हो

51 एकड़ में फैला नया भवन  324 करोड़ की लागत से बना 

324 करोड़ रुपये की लागत से बना नया विधानसभा भवन 51 एकड़ में फैला है, जिसमें कुल 5 लाख वर्ग फुट का फैलाव है. यह भवन आधुनिक तकनीक से लैस है और इसे पर्यावरण-अनुकूल (इको-फ्रेंडली) तरीके से तैयार किया गया है.

 

भवन का डिजाइन छत्तीसगढ़ की संस्कृति, परंपरा और आधुनिकता का सुंदर मेल दिखाता है. इसे धरती धुरंधर यानी शक्ति, संस्कृति और प्रगति की भूमि की भावना के प्रतीक के रूप में बनाया गया है.

 

छत्तीसगढ़ के नए विधानसभा भवन की खासियतें

पर्यावरण-अनुकूल डिजाइन और सस्टेनेबिलिटी : भवन में 300 किलोवाट की सोलर पैनल्स लगाए गए हैं, जो सौर ऊर्जा का उपयोग करेंगे. साथ ही, वर्षा जल संचयन (रेनवाटर हार्वेस्टिंग) की सुविधा है, जो पानी की बचत सुनिश्चित करेगी.

 

स्मार्ट लाइटिंग सिस्टम भी स्थापित है, जो ऊर्जा की खपत को कम करेगा. यह भारत के सबसे आधुनिक और इको-फ्रेंडली विधानसभा भवनों में से एक है, जो हरित ऊर्जा और सस्टेनेबल इंफ्रास्ट्रक्चर पर जोर देता है. 

 

विधानसभा हॉल की क्षमता :  मुख्य विधानसभा हॉल में 200 विधायकों के बैठने की व्यवस्था है, जो आधुनिक सुविधाओं से लैस है.  यह हॉल डिबेट, सत्र और विधायी कार्यों के लिए डिजाइन किया गया है, जिसमें उन्नत ऑडियो-वीडियो सिस्टम शामिल हैं.

 

ऑडिटोरियम और अन्य सुविधाएं : भवन में एक अल्ट्रा-मॉडर्न ऑडिटोरियम है, जिसमें 500 दर्शकों की क्षमता है. यह ऑडिटोरियम सांस्कृतिक कार्यक्रमों, सेमिनारों और अन्य आयोजनों के लिए उपयुक्त है. इसके अलावा, भवन में विधायकों के लिए कार्यालय, लाइब्रेरी, कैंटीन और अन्य प्रशासनिक सुविधाएं भी उपलब्ध हैं.

 

सांस्कृतिक और आर्किटेक्चरल महत्व: डिजाइन में छत्तीसगढ़ की सांस्कृतिक विरासत को शामिल किया गया है, जो राज्य की परंपराओं को प्रतिबिंबित करता है.  यह भवन न केवल कार्यात्मक है, बल्कि सौंदर्यपूर्ण भी, जो राज्य की प्रगति का प्रतीक बनेगा.

 

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