Ranchi: नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने भुईंहरी जमीन की हेराफेरी में सीएमओ और मुख्यमंत्री को कटघरे में खड़ा किया है. कहा कि रांची में आदिवासी भुईंहरी जमीन की प्रकृति बदलकर उसे बेचे जाने का मामला अत्यंत गंभीर है. कांके के चामा गांव में उन्होंने स्वयं ग्रामीणों से मिलकर जमीन की हेराफेरी की जानकारी ली थी. इसे प्रशासन के संज्ञान में लाया था.
कांके अंचल की कई जमीनों पर इंडी गठबंधन के नेताओं और जमीन माफियाओं की नज़र है. सत्ता के संरक्षण में रैयती, पहनाई, भुईहरी और गैर मजरुआ जमीनों पर माफिया तत्व जबरन कब्जा कर रहे हैं. सिर्फ एक कंप्यूटर ऑपरेटर के बूते 200 एकड़ जमीन की हेराफेरी संभव नहीं है.
इस पूरे खेल में अंचलाधिकारी से लेकर मुख्यमंत्री कार्यालय तक की मिलीभगत है और मुख्यमंत्री की संलिप्तता से भी इनकार नहीं किया जा सकता. ऐसे में इस पूरे प्रकरण की गहराई से जांच कर दोषियों पर कठोर कार्रवाई की जानी चाहिए.
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