Ranchi : कोविड संक्रमित मरीजों की बढ़ती संख्या और सरकारी हॉस्पिटलों में बेड नहीं मिलने से लोग निजी हॉस्पिटलों का रुख कर रहे हैं. इसका निजी हॉस्पिटल प्रबंधन भरपूर फायदा उठा रहे हैं. इसे देखते हुए राज्य सरकार ने सभी जिलों को तीन भागों में बांटकर वहां के निजी हॉस्पिटलों में कोविड इलाज की राशि तय कर दी है. हालांकि फिर भी कई निजी हॉस्पिटल सरकार के निर्देशों की अनदेखी कर रहे हैं. इस पर सीएम हेमंत सोरेन ने कहा है कि पूरे राज्य के निजी अस्पतालों में राज्य सरकार द्वारा कोविड उपचार की दरें तय हैं. इन तय दरों से ज़्यादा रक़म लेना क़ानूनन जुर्म है. सीएम ने कहा कि अगर कोई भी हॉस्पिटल प्रबंधन तय राशि से अधिक लेेेता है, तो सम्बंधित शिकायत 104 नम्बर पर फोन कर दें. सरकार तुरंत कार्रवाई करेगी.
24 जिलों को तीन श्रेणियों व शुल्क राशि को दो भागों (NABH accredited और Non – NABH accredited) में बांटा गया है. इसमें A श्रेणी में रांची, पूर्वी सिंहभूम, धनबाद, बोकारो, B श्रेणी में हजारीबाग, पलामू, देवघर, सराइकेला, रामगढ़, गिरिडीह और C – श्रेणी में चतरा, दुमका, गढ़वा, गोड्डा, गुमला, जामताड़ा, खूंटी, कोडरमा, लातेहार, पाकुड़, साहिबगंज, सिमडेगा, पश्चिमी सिंहभूम शामिल हैं. वहीं इन जिलों के निजी हॉस्पिटलों के लिए इलाज की दरें हैं.
कैटेगरी – A
NABH accredited
1 – आइसोलेशन बेड और ऑक्सीजन सहित बेड 8000 रुपये
2 – बिना वेंटिलेटर के ICU – 10000 रुपये
3 – वेंटिलेटर सहित ICU – 12,000
NON – NABH accredited
1 – आइसोलेशन बेड और ऑक्सीजन सहित बेड 7500 रुपये
2 – बिना वेंटिलेटर के ICU – 9000 रुपये
3 – वेंटिलेटर सहित ICU – 11,500
कैटेगरी – B
NABH accredited
1 – आइसोलेशन बेड और ऑक्सीजन सहित बेड 7000 रुपये
2 – बिना वेंटिलेटर के ICU – 8500 रुपये
3 – वेंटिलेटर सहित ICU – 11,000
NON – NABH accredited
1 – आइसोलेशन बेड और ऑक्सीजन सहित बेड 6500 रुपये
2 – बिना वेंटिलेटर के ICU – 8000 रुपये
3 – वेंटिलेटर सहित ICU – 10,500
कैटेगरी – C
NABH accredited
1 – आइसोलेशन बेड और ऑक्सीजन सहित बेड 6000 रुपये
2 – बिना वेंटिलेटर के ICU – 8000 रुपये
3 – वेंटिलेटर सहित ICU – 10,500
NON – NABH accredited
1 – आइसोलेशन बेड और ऑक्सीजन सहित बेड 5000 रुपये
2 – बिना वेंटिलेटर के ICU – 7500 रुपये
3 – वेंटिलेटर सहित ICU – 9000
निजी अस्पताल इलाज के नाम पर कर रहे लूट
बता दें कि बीते दिनों राजधानी के नामकूम व रातू स्थित निजी हॉस्पिटल में भी मरीजों से इलाज के नाम पर लाखों रुपये लेने की बात सामने आयी थी. बाद में सीएम के हस्तक्षेप के बाद मरीजों को राहत मिली थी. बुधवार को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के साथ दक्षिण छोटानागपुर प्रमंडल सांसदों के साथ बातचीत में निजी हॉस्पिटलों के मनमानी की बात सामने आयी है. धनबाद के सासंद पीएन सिंह ने विशेष तौर पर कहा है कि यहां के निजी हॉस्पिटल सरकार के निर्देशों का पालन नहीं कर रहे हैं. 10 दिन के इलाज का हॉस्पिटल प्रबंधन लाखों रुपये का बिल मरीजों को थमा रहे है. कुछ सांसदों व विधायकों ने सीएम को यह भी बताया कि ज्यादा से ज्यादा फीस वसूलने के साथ हॉस्पिटल प्रबंधन द्वारा मरीजों को सही इलाज में नहीं दे रहे हैं.