धर्मग्रंथ जलाने की अफवाह पर हिंसा भड़की
पुलिस के अनुसार, महाराष्ट्र के नागपुर के महाल में छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा के पास सोमवार देर शाम बजरंग दल के सदस्य प्रदर्शन कर रहे थे. इसी दौरान किसी उपद्रवी ने अफवाह फैला दी कि आंदोलन के दौरान धर्मग्रंथ को जलाया गया. जिसके बाद मुस्लिम समुदाय के लोगों में आक्रोश फैल गया. इसको लेकर गणेशपेठ थाना में शिकायत भी दर्ज करायी गयी. इसके बाद महल इलाके के अलग-अलग हिस्सों में बड़ी संख्या में मुस्लिम समुदाय के लोग इकट्ठा होने लगे. इस दौरान दोनों गुटों में विवाद हो गया और वह हिंसा में तब्दील हो गयी. महाल के बाद हंसपुरी इलाके में सोमवार रात करीब 10-11 बजे दो गुटों में विवाद के बाद हिंसा भड़क उठी. उग्र भीड़ ने दुकानों में तोड़फोड़ की और कई वाहनों को आग के हवाले कर दिया. इस दौरान जमकर पथराव भी किया गया. जिसमें पुलिसकर्मी समेत कई लोग घायल हुए हैं. इस मामले में कार्रवाई करते हुए पुलिस ने अब तक 60 से 65 लोगों को हिरासत में लिया है. https://twitter.com/AHindinews/status/1901681820590338091https://twitter.com/AHindinews/status/1901671425121153336
समाज में तनाव पैदा करने वालों के खिलाफ होगी सख्त कार्रवाई - सीएम
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि नागपुर के महल इलाके में जिस तरह से स्थिति तनावपूर्ण हुई, वह बेहद निंदनीय है. कुछ लोगों ने पुलिस पर भी पत्थरबाजी की. यह गलत है. मैं स्थिति पर नजर रख रहा हूं. मैंने पुलिस कमिश्नर से कहा है कि कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए जो भी सख्त कदम उठाने की जरूरत है, उठाएं. अगर कोई दंगा करता है या पुलिस पर पत्थरबाजी करता है या समाज में तनाव पैदा करता है, तो ऐसे सभी लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए. देवेंद्र फडणवीस ने सभी से अपील की कि वे नागपुर की शांति को भंग न होने दें. अगर कोई तनाव पैदा करने की कोशिश करता है, तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जायेगी.300 सालों के इतिहास में नागपुर में कभी दंगा नहीं हुआ - पवन खेड़ा
कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने कहा कि महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के गृह क्षेत्र नागपुर के महल इलाके में दंगा भड़का है. नागपुर 300 साल पुराना शहर है और इन 300 सालों के इतिहास में नागपुर में कभी दंगा नहीं हुआ. हमें यह पूछना चाहिए कि ऐसी स्थिति क्यों बनी. केंद्र और राज्य दोनों जगह भाजपा की सरकार है. अगर VHP और बजरंग दल ने औरंगजेब की कब्र हटाने की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन किया, तो क्या सरकार ने कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए कोई व्यवस्था नहीं की? कांग्रेस पार्टी और हम सभी नागपुर के लोगों से शांति बनाए रखने की अपील करते हैं. हमारे लिए शांति आवश्यक है.नागपुर शहर का इतिहास ऐसे मामलों में शांति बनाए रखने का रहा है - नितिन गडकरी
केंद्रीय मंत्री और नागपुर से सांसद नितिन गडकरी ने कहा कि कुछ अफवाहों के कारण नागपुर में धार्मिक तनाव की स्थिति पैदा हुई है. नागपुर शहर का इतिहास ऐसे मामलों में शांति बनाए रखने का रहा है. मैं अपने सभी भाइयों से आग्रह करता हूं कि वे किसी भी तरह की अफवाहों पर विश्वास न करें और शांति बनाए रखें. सड़कों पर न निकलें और कानून व्यवस्था में सहयोग करें. नितिन गडकरी ने शांति और सद्भाव की परंपरा को बनाये रखने की अपील की है. उन्होंने कहा कि मैं आप सभी को आश्वस्त करता हूं कि सरकार उन लोगों के खिलाफ कार्रवाई करेगी जिन्होंने गलती की है या अवैध गतिविधियों में लिप्त हैं. मुख्यमंत्री को पहले ही इस स्थिति के बारे में सूचित किया जा चुका है, इसलिए मैं सभी से अनुरोध करता हूं कि अफवाहों पर ध्यान न दें. कृपया पुलिस प्रशासन का सहयोग करें, प्रेम बढ़ाएं और शहर में सकारात्मक माहौल बनाए रखें. यह मेरा आप सभी से विनम्र अनुरोध है.औरंगजेब को भारत में कभी भी महिमामंडित नहीं किया जा सकता - सुनील शर्मा
नागपुर हिंसा पर भाजपा नेता सुनील शर्मा ने कहा कि ऐसी घटनाएं नहीं होनी चाहिए, जैसे कि कल नागपुर में हुई. हम इसकी निंदा करते हैं. औरंगजेब को भारत में कभी भी महिमामंडित नहीं किया जा सकता. भारत एक सांस्कृतिक देश है, और इसकी अपनी समृद्ध संस्कृति है. मुगल आक्रांताओं ने भारत की संस्कृति को नष्ट करने का प्रयास किया. यह देश किसी भी कीमत पर उन्हें अपना आदर्श नहीं मान सकता. जो लोग और समाज उन्हें यहां आदर्श बनाने की कोशिश कर रहे हैं, उन्हें आत्मचिंतन करना चाहिए.कानून-व्यवस्था को खराब नहीं होने देना है - विक्रम रंधावा
भाजपा नेता विक्रम रंधावा ने कहा कि वहां की प्रशासन सिस्टम को अच्छे प्रबंधित कर रही है, कानून-व्यवस्था को खराब नहीं होने देना है. दंगे को बढ़ावा नहीं देने दिया जायेगा.विधायक प्रवीण दटके ने हंसपुरी इलाके का किया दौरा
भाजपा विधायक प्रवीण दटके ने हिंसा प्रभावित क्षेत्र हंसपुरी का दौरा किया. उन्होंने कहा कि मैं आज सुबह यहां पहुंचा. यह घटना पहले से ही योजनाबद्ध थी. कल सुबह एक आंदोलन के बाद गणेश पेठ पुलिस स्टेशन में घटना घटी, फिर सब कुछ सामान्य रहा. शाम में भीड़ ने केवल हिंदुओं के घरों और दुकानों में प्रवेश किया. पहले सभी कैमरे तोड़ दिये गये और फिर हथियारों के साथ हिंसा की गयी. यह सब पहले से तय लगता है.
विधायक ने कहा कि मैंने पुलिस आयुक्त से बात की, और यह एक संवेदनशील क्षेत्र है. मैं मुख्यमंत्री से भी बात करूंगा. अपराधियों की तस्वीरें डीवीआर में हैं और हम यह सभी सामग्री पुलिस को सौंपेंगे. मुझे दुख के साथ कहना पड़ रहा है कि कल पुलिस हिंदू नागरिकों के साथ खड़ी नहीं थी.
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