NewDelhi/Kolkata : चक्रवाती तूफान ताउ ते के बाद अब देश के पूर्वी तटीय क्षेत्रों में साइक्लोन यास (Cyclone Yaas) का खतरा दस्तक दे रहा है. खबर है कि बंगाल की खाड़ी में उठने वाला यास नाम का चक्रवाती तूफान ओडिशा और पश्चिम बंगाल के तटीय इलाकों से टकरा सकता है. बता दें कि मौसम विभाग (IMD) ने आज 22 मई को बंगाल की खाड़ी में लो प्रेशर बनने और 24 मई तक इसके साइक्लोन में तब्दील होने का अनुमान जताया है.
26 मई की शाम को पश्चिम बंगाल-ओडिशा के तटों तक पहुंच सकता है
मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार साइक्लोन में तब्दील होकर यह उत्तर पश्चिम दिशा की ओर बढ़ जा सकता है. चक्रवाती तूफान यास 26 मई की शाम को पश्चिम बंगाल-ओडिशा के तटों तक पहुंच सकता है. चक्रवाती तूफान के खतरे को देखते हुए ओडिशा सरकार ने 30 में से 14 तटीय जिलों में हाई अलर्ट जारी कर दिया है.
इसे भी पढ़ें : वैक्सीन">https://lagatar.in/government-allowed-vaccination-for-everyone-without-looking-avaccine-availability/67964/">वैक्सीन
की उपलब्धता और WHO की गाइडलाइंस देखे बिना सरकार ने सबके लिए वैक्सीनेशन की इजाजत दी : सीरम इंस्टिट्यूट
Indian Coast Guard अलर्ट पर
ओडिशा और पश्चिम बंगाल में भारतीय नौसेना (Navy) एवं भारतीय तट रक्षक बल (Indian Coast Guard) को अलर्ट पर रखा गया है. NDRF)ने पश्चिम बंगाल और ओडिशा में टीमों की तैनाती शुरू कर दी है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के अनुसार22 मई को उत्तरी अंडमान सागर और आसपास की पूर्व-मध्य बंगाल की खाड़ी में कम दबाव का क्षेत्र बनने की संभावना है. जिसके आगामी दो दिन में धीरे-धीरे चक्रवाती तूफान (Cyclonic Storm) में बदलने की आशंका है.
इसे भी पढ़ें : प्रसिद्ध">https://lagatar.in/famous-british-science-writer-claims-corona-virus-made-in-wuhans-bsl2-lab/67700/">प्रसिद्ध
ब्रिटिश साइंस राइटर का दावा, वुहान की BSL2 लैब में बना कोरोना वायरस और पूरी दुनिया में फैला
तटीय इलाकों में NDRF ने टीमें तैनात
चक्रवाती तूफान से निपटने के लिए NDRF ने कमर कस ली है. एनडीआरएफ महानिदेशक एसएन प्रधान के अनुसार पश्चिम बंगाल और ओडिशा में संभावित खतरे वाले क्षेत्रों में टीमें तैनात करना शुरू कर दिया गया है. तूफान यास 26 मई को तट से टकरा सकता है.
केंद्र सरकार ने आंध्र प्रदेश, ओडिशा, तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल और अंडमान निकोबार द्वीप समूह को यह सुनिश्चित करने को कहा है कि स्वास्थ्य केंद्रों पर आवश्यक दवाओं तथा संसाधनों का स्टॉक रखा जाये. जिससे यास तूफान के दौरान किसी भी आपात स्थिति से निपटा जा सके.
[wpse_comments_template]