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देवघर : नामांकन फीस के नाम पर प्राइवेट स्कूल संचालकों की मनमानी

Deoghar : देवघर में नामांकन फीस के नाम पर प्राइवेट स्कूल संचालक अभिभावकों से मनमानी फीस वसूल रहे हैं. जिले में कोरोना की वजह से प्राइवेट स्कूलों के साथ-साथ सरकारी स्कूल भी बंद थे. कोरोना की रफ्तार थमने के बाद स्कूलों को फिर से खोला गया है. कोरोना काल में छोटे-मोटे नौकरी करने वाले कई अभिभावकों की नौकरी छिन जाने से आर्थिक स्थिति खराब हो गई. अभिभावकों को उम्मीद थी कि नामांकन फीस में कुछ रियायत मिलेगी, लेकिन उस उम्मीद पर पूरी तरह पानी फिर चुका है. स्कूल संचालकों का सीधा फरमान है कि फीस जमा करने के बाद ही नामांकन होगा, अन्यथा नहीं. स्कूल संचालकों की इस मनमानी से अभिभावक परेशान है. कई अभिभावक नामांकन फीस चुकाने में असमर्थ है, जिससे बच्चों का नामांकन नहीं हो रहा है. श्री नारायणी सेवा ट्रस्ट के राष्ट्रीय अध्यक्ष रंजीत प्रसाद राय ने कहा है प्राइवेट स्कूल संचालकों की इस मनमानी के खिलाफ झारखंड के शिक्षा मंत्री को संज्ञान लेना चाहिए. स्कूलों में फीस नहीं जमा देने पर कई गरीब बच्चों की पढ़ाई बंद हो जाएगी. प्राइवेट स्कूल संचालक बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं, वैसे स्कूल संचालकों के खिलाफ खिलाफ शिक्षा मंत्री को कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए. प्राइवेट स्कूलों में नामांकन के नाम पर 9 से 10 हजार रुपये तथा ट्यूशन फीस के नाम पर 1 से 2 हजार रुपये वसूली जा रही है. रंजीत प्रसाद राय ने शिक्षा मंत्री से गरीब परिवार के बच्चों के लिए नामांकन फीस में 40 प्रतिशत रियायत दिलाने की मांग की है. यह">https://lagatar.in/wp-admin/post.php?post=270621&action=edit">यह

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