Dhanbad : मगही, भोजपुरी, मैथिली, संस्कृति बचाओ मंच ने 27 मार्च रविवार को धनबाद के भाजपा विधायक राज सिन्हा का घेराव किया औप उन्हें ज्ञापन सौंपा. घेराव में भारी संख्या में लोग शामिल थे. धनबाद, बोकारो जिले में मगही, भोजपुरी, अंगिका भाषा को क्षेत्रीय भाषा का दर्जा नहीं देने के विरोध में लोग विधायक के आवास को घेर कर जम गए.
इस मौके पर विधायक राज सिन्हा ने कहा कि चुनाव के वक्त सरकार ने जो भी वादा किया था, उनमें किसी को पूरा नहीं किया. वादा किया था कि 1932 का खतियान लागू करेंगे, 5 लाख लोगों को सरकारी नौकरी देंगे, नौकरी नहीं दे पाने पर बेरोजगार बीए पास को 5000 और एमए पास को 7000 हजार रुपये बेरोजगारी भत्ता देंगे. कहा था कि ऐसा नहीं कर सके तो वह राजनीति से संन्यास ले लेंगे. सरकार कुछ कर नहीं सकी तो अपनी नाकामियों को छिपाने के लिए भावनात्मक मुद्दों को उभार रही है.
उन्होंने कहा कि यह सरकार फूट डालो और राज करो की अंग्रेजों की नीति पर चल रही है. उन्होंने कांग्रेस के नेताओं को जल्द से जल्द इस सरकार से पिंड छुड़ा लेने की सलाह दी. कहा कि सरकार पहले स्थानीयता की परिभाषा तय करे, फिर तय होगा आंदोलन किस तरह किया जाएगा. उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी सबका साथ सबका विकास के सिद्धांत पर काम करती है. उन्होंने मंच के लोगों को अश्वासन दिया कि वह उनके साथ हैं.
मंच के संयोजक मदन राम, संस्थापक अभिषेक सिंह और प्रवक्ता जितेंद्र पासवान ने कहा कि सरकार ने मगही, भोजपुरी, अंगिका ओर मैथिली भाषा को स्थानीयता की सूची में डाल कर धनबाद, बोकारो के लोगों को सम्मान दिया था, उस सम्मान को अविलंब वापस दिया जाए,अन्यथा मंच का चरणबद्ध आंदोलन जारी रहेगा.
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