पूर्व मंत्री मन्नान मल्लिक ने कराया था आवंटन
पुलिस लाइन स्थित मछली विक्रेताओं ने बताया कि खुले में मछली बेचने की विवशता को दूर करने के लिए झारखंड के तत्कालीन पशुपालन मंत्री मन्नान मल्लिक ने गुमटी आवंटन की स्वीकृति दी थी. उनकी पहल पर लगभग 4 दर्जन से अधिक दुकानदारों को गुमटी आवंटित करने की योजना थी. परंतु वैसा नहीं हो सका. इन दुकानदारों के साथ कई दूसरे पेशे से जुड़े दुकानदारों ने बहती गंगा में हाथ धोने की कहावत को चरितार्थ करते हुए फर्जी तरीके से गुमटी अपने नाम आवंटित करा ली. आवंटन प्रक्रिया में मछली विक्रेताओं के साथ अन्य कई छोटे दुकानदारों ने भी फॉर्म भरा, जो मछली विक्रेता नहीं थे. आवंटित गुमटी को दुकानदार पुलिस लाइन से दूर ले गए और अपनी सुविधानुसार पान व गुटखा की दुकान खोल ली. हालत यह कि इस फर्जीवाड़े की भनक तक मत्स्य विभाग को नहीं महसूस हुई.मामला पुराना, जानकारी नहीं है : मुजाहिद अंसारी
गुमटी आवंटन मामले में मत्स्य विभाग पदाधिकारी मुजाहिद अंसारी ने बताया कि मामला काफी पुराना है और इसकी जानकारी नहीं थी. उन्होंने इस मामले को संज्ञान में लेते हुए जांच करने की बात कही है. यह भी पढ़ें : धनबाद">https://lagatar.in/dhanbad-red-cross-ambulance-drivers-are-not-getting-salary/">धनबाद: रेड क्रॉस के एंबुलेंस चालकों को नहीं मिल रहा वेतन [wpse_comments_template]

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