दृष्टि जीवन की अनमोल धरोहर: डॉ मनोज सिंह
Jharia : समावेशी शिक्षा के झरिया रिसोर्स सेंटर के तत्वावधान में राष्ट्रीय दृष्टि विहीनता नियंत्रण कार्यक्रम के तहत गुरुवार 27 जुलाई को झरिया एकेडमी में प्रखंड के सभी विद्यालयों के शिक्षकों को बच्चों के दृष्टि परीक्षण का प्रशिक्षण दिया गया. सभी विद्यालयों के लिए स्लेनेल चार्ट एवं स्क्रीनिंग रिकॉर्ड शीट प्रदान दी गई. फ़िज़ियोथेरेपिस्ट डॉ मनोज सिंह ने कहा कि दृष्टि जीवन की अनमोल धरोहर है. इसकी सुरक्षा के लिए समय पर जांच जरूरी है. यदि कोई बच्चा नजदीक से पढ़ता है या पढ़ने के बाद सिरदर्द की शिकायत करता है तो आंख की जांच जरूरी है. रिसोर्स टीचर अखलाक अहमद ने कहा कि बदलते मौसम में संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है. अतः आंखों की देखभाल जरूरी है. छात्रों की नेत्र दृष्टि ठीक है अथवा परीक्षण जरूरी है , इसके लिए दृष्टि सर्वेक्षण किया जा रहा है. चौबीस घंटे आई केयर झरिया के संचालक डॉ दिलीप कुमार ने कहा कि बच्चे को 20 फीट की दूरी पर खड़ा कर एक आंख ढक कर स्लेनेल चार्ट में ई का सिरा किस ओर खुलता है, संकेत से पूछें. यदि सही नहीं बता सका तो बच्चे में दृष्टिदोष है. उन्होंने कहा कि इसके लिए उपयुक्त स्थान व प्रकाश जरूरी है. कार्यक्रम में डॉ मनोज सिंह, अखलाक अहमद, डॉ दिलीप कुमार, प्रधान शिक्षक उमेश नारायण, ब्रजेश कुमार, सोनू स्वर्णकार, प्रेमलता, ज्वाला प्रसाद गुप्ता, सतीस सिंह, उमाशंकर पाण्डे, गौर रविदास, अनवर हुसैन, राणा प्रताप सिंह, वरुण झा, राजदीप पाण्डे सहित सभी विद्यालय के शिक्षक एवं शिक्षिका मौजूद थे. [wpse_comments_template]
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